देश के 6 शिक्षा संस्थानों में लगा है नक्सलियों का 700 करोड़ काला धन
काला धन जमा कर अपना भविष्य सुरक्षित करने में जुटे नक्सली नेता
सिटी पोस्ट लाईव : व्यवस्था परिवर्तन के लिए क्रांति और गरीबों के शोषण के खिलाफ लड़ाई लड़ने का दंभ भरनेवाले नक्सली नक्सली संगठन के नेता सैकड़ों करोड़ रुपये जमा कर अपना भविष्य सुरक्षित करने में लगे हैं.आनेवाले दिनों में यहीं नक्सली नेताओं के नाम बड़े उद्योगपतियों और धन पशुओं के रूप में शुमार होनेवाला है. लेवी वसूली ,नशीली दवाओं की तस्करी और अपहरण सरीखे गैरकानूनी कामों के जरिए सैकड़ों करोड़ रुपये का काला धन जमा कर रहे हैं.ये नक्सली इस धान को दिल्ली ,नोयडा , लखनऊ, दिल्ली, कोलकाता जैसे शहरों में प्रॉपर्टी और शैक्षणिक संस्थानों में निवेश कर रहे हैं. राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों ने ओडिशा के मलकानगिरी क्षेत्र से ऐसी ही करोड़ों रुपये की खेप को हाल ही में जब्त किया है. ये खुलासा यहां शनिवार को सुप्रीम कोर्ट की तरफ से कालेधन पर गठित विशेष जांच टीम (एसआईटी) ने यहां किया है.
एसआईटी के वाइस चेयरमैन जस्टिस (सेवानिवृत्त) अरिजित पासयत ने यहां विभिन्न सरकारी जांच एजेंसियों के आला अधिकारियों के साथ बैठक की. अधिकारियों ने एसआईटी को काले धन के खिलाफ अब तक की गई कार्रवाई की जानकारी दी. बैठक के बाद उन्होंने बताया कि विभिन्न जांच एजेंसियों ने बड़े पैमाने पर माओवादी नेताओं की तरफ से खरीदी गई अवैध संपत्तियों को भी बड़े पैमाने पर जब्त किया है.लेकिन एसआईटी की जानकारी में ये पहली बार सामने आया है कि माओवादी बड़े पैमाने पर काला धन उगाह रहे हैं. और उनके नेता इसका उपयोग अपना भविष्य सुरक्षित करने में कर रहे हैं. हालांकि उन्होंने माओवादियों से जब्त किए गए धन के अधिकारिक आंकड़े का खुलासा करने से इनकार कर दिया.
जस्टिस पासयत ने ये भी खुलासा किया कि देश के 6 नामी शिक्षा संस्थानों ने करीब 700 करोड़ रुपये की कर चोरी की है, जो अब उनसे वसूला जा चुका है. उन्होंने कई बड़े अस्पतालों के भी बड़े पैमाने पर कर चोरी करने और इनके अब एसआईटी के स्कैनर पर होने की बात कही.
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