सिटी पोस्ट लाइव, रांची: गैर अनुसूचित 11 जिलों के शिक्षक अभ्यर्थियों ने झारखंड सचिवालय का मुख्य द्वार जाम कर दिया। लगभग 300 अभ्यर्थी हाथों में पोस्टर बैनर के साथ दरवाजे पर नारा लगाते हुए खड़े हुए और अपनी नियुक्ति की मांग करने लगे। उन्होंने हेमंत सोरेन के खिलाफ नारे लगाए। मौके पर सुरक्षा बलों ने उन्हें वापस जाने को कहा, थोड़ी धक्का-मुक्की भी हुई। लेकिन अभ्यर्थी नहीं माने और द्वार के पास ही बैठ गए। कुछ देर के लिए गाड़ियों का आवागमन प्रभावित हुआ, लेकिन फिर अभ्यर्थी गेट से हट कर पास में बैठने को राजी हुए।
अभ्यर्थियों में से दो लोग शिक्षा सचिव से मिलने भी गए। इधर गेट जाम कर रहे अभ्यर्थियों की मांग थी कि विभागीय अधिकारी उनसे आकर बात करें और नियुक्ति से संबंधित लिखित आश्वासन दें। लेकिन शामतक ऐसे नहीं हुआ, मुख्यमंत्री भी मंगलवार को मंत्रालय नहीं पहुंचे। इस बीट लगभग आधे घंटे तक अभ्यर्थी गेट पर खड़े होकर नारेबाजी करते रहे। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने इस मसले पर अभ्यर्थियों के पक्ष में फैसला दिया है।
इससे पहले सुबह ही इतिहास और नागरिक शास्त्र के 626 शिक्षक अभ्यर्थी मंगलवार को पेयजल मंत्री मिथिलेश ठाकुर का आवास घेरने पहुंचे थे। हाथों में तख्तियां और सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर वे नियुक्ति की मांग कर रहे थे। सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कह दिया है कि उनकी तरफ से गैर अनुसूचित जिलों के लोगों की नियुक्ति पर किसी प्रकार का स्टे नहीं लगाया गया है। ऐसे में अभ्यर्थी दोबारा झारखंड हाईकोर्ट में आवेदन दे सकते हैं। जब घंटों आवास के बाहर खड़े रहने के बाद भी जब मंत्री नहीं आए तो सभी अभ्यर्थी सचिवालय का घेराव करने के लिए धुर्वा स्थित प्रोजेक्ट बिल्डिंग पहुंचे।
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