वर्ष 2020 से सभी संकायों का नामांकन चांसलर पोर्टल से : कुलपति
सिटी पोस्ट लाइव, मेदिनीनगर: नीलाम्बर पीताम्बर विश्वविद्यालय के कार्य में लगी सॉफ्टवेर कंपनी यूएसटी इंडिया को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। मंगलवार को नीलाम्बर पीताम्बर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर (डॉ) एस.एन. सिंह ने प्रेसवार्ता में बताया कि उक्त सॉफ्टवेयर कंपनी को विश्वविद्यालय ने 31 लाख में खरीदा था। विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाने के लिए जो तालमेल बिठाकर नहीं चला गया। उन्होंने बताया कि एकेडमिक कैलेन्डर तैयार किया जा चुका है। निर्णय के अनुसार वर्ष 2020 सत्र से सभी संकायों के लिए नामंकन चांसलर पोर्टल के माध्यम ऑनलाइन लिया जा सकेगा। ऑफलाइन नामांकन प्रक्रिया अब नहीं की जा सकेगी। कुलपति ने कहा कि 2017 से ही शिक्षित भारत अभियान की शुरुआत हो चुकी है। सभी विश्वविद्यालयों को इसे लागू करना है। जो अभीतक विश्वविद्यालय में इस प्रक्रिया को सुचारू रूप से शुरू करने के लिए सिस्टम को धरातल पर लाने के लिए लगातार कार्य चल रहा है। कुलपति ने बताया कि विश्वविद्यालय के व्यख्याता गण को ऑनलाइन सेवा उपलब्ध हो चुकी है। वे घर बैठे ही रिसर्च व ट्रेनिंग कर सकेंगे। उन्हें इस कार्य के लिए बाहर नहीं जाना है। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय अपने यहाँ टॉपर्स को पढ़ने का अवसर उपलब्ध करा रहा है। इसके लिए मासिक मानदेय निश्चित किया जा चुका है। कुलपति ने कहा कि विश्वविद्यालय में चल रहे सभी वोकेशनल कोर्सेज की समीक्षा की गई। जो कोर्स अच्छी तरह से चल रहे हैं, वहां पर एक अकाउंटेंट व स्वीपर की सेवा बहाल की जाएगी। कुलपति ने कहा कि कुछ वोकेशनल कोर्स बॉयोटेक, एमसीए व एमजेएमसी में छात्र नामांकन नहीं ले रहे हैं, उसे बंद करने पर विचार किया जा सकता है। पत्रकारों ने मास कॉम को बंद नहीं करने का आग्रह किया। कुलपति ने कहा कि उक्त विभाग के प्रभारी को आवश्यक निर्देश दिया गया गया है कि वे विभाग को गंभरता से लें। कुलपति ने कहा कि कॉलेज लाइब्रेरी को भी डिजिटल करने की प्रक्रिया चल रही है।
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