CRPF के जवानों ने अपने अधिकारियों पर लगाया जंगल बेच देने का आरोप
सीआरपीएफ 131 बटालियन के कमांडेंट राकेश कुमार एवं तुलसीदास पर लगा है गंभीर आरोप
CRPF के जवानों ने अपने अधिकारियों पर लगाया जंगल बेच देने का आरोप
सिटी पोस्ट लाइव : सीआरपीएफ 131 बटालियन के कमांडेंट राकेश कुमार एवं तुलसीदास लूट मचाये हुए हैं. आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र के गरीब किसान मजदूरों को वर्दी का भय दिखा रहे हैं. उनसे जबरन जंगलों की लकड़ियों को कटवा रहे हैं. ग्रामीणों को अधिकारी ये बताकर लकड़ी कटवा रहे हैं कि अधिकारियों के लिए एक हेड क्वार्टर बन रहा है जिसमें इन सब लकड़ियों का काम करवाया जाएगा. ये आरोप सिटी पोस्ट लाइव नहीं लगा रहा. ये आरोप सीआरपीएफ के जवान लगा रहे हैं.
सीआरपीएफ जवानों नेअपने ईन दोनों सीआरपीएफ के कमांडेंट पर सिविल अधिकारियों से प्राप्त होने वाले पेट्रोल एवं डीजल के गबनका आरोप भी लगाया है. उनके अनुसार जवानों के वेलफेयर में खर्च होने वाले राशि में घोर अनियमितता, पर्चेजिंग में लूट-खसोट मची हुई है. सरकार द्वारा सिविल एक्शन प्रोग्राम के लिए आवंटित राशि में व्यापक अनियमितता है . जंगल के हरे भरे वृक्ष कटवा रहे हैं., सीआरपीएफ 131 बटालियन को भ्रष्टाचार का दल बना दिया है. कई प्रकार के गैरकानूनी कार्य अपने पद और शक्तियों का दुरुपयोग कर किए जाने जैसे गंभीर आरोप लगाए हैं. जवानों ने पीएमओ एवं केंद्रीय गृह मंत्री से इसकी उच्चस्तरीय जांच सिविल अधिकारियों से करवाने की मांग की है.
ईन गंभीर आरोपों से साफ़ है कि सीआरपीएफ कैम्प में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है. सीआरपीएफ 131 बटालियन के कमांडेंट राकेश कुमार एंव कमांडेंट तुलसीदास के विरुद्ध उनके ही बटालियन के रविंद्र कुमार, कुलदीप सिंह एंव हरेंद्र पाल ने गंभीर आरोप लगाया है.
दोनों अधिकारियों के जवानों ने स्थानीय फॉरेस्ट अधिकारी एवं अन्य अधिकारियों से शिकायत किया. फिर भी जब कारवाई नहीं हुई तो जवानों ने दोनों वरीय अधिकारियों की गैरकानूनी करतूत की जानकारी सीधे पीएमओ कार्यालय एंव केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह को दे दिया है. गृह मंत्री ने मामले को गंभीरता से संज्ञान में लिया है . बिहार राज्य पर्यावरण मंत्रालय को जांच की जिम्मेदारी दिया है. पर्यावरण मंत्रालय के प्रधान सचिव ने इसकी जांच प्रमंडलीय स्तर पर करने के लिए अधिकारियों को सौंपा है. रेंजर सरोज कुमार ने सिटी पोस्ट लाइव को बताया कि सहायक वन संरक्षक के नेतृत्व में इसकी जांच की जा रही है. मुझे दोनों पक्षों को नोटिस करने की जिम्मेदारी दी गई थी. मैंने दोनों पक्षों को नोटिस कर दिया है. 12 सितंबर को दोनों पक्ष अपनी अपनी बात रखेंगे.
Comments are closed.