सिटी पोस्ट लाइव : दिवाली का बाज़ार सज गया है.कोविद की दूसरी बड़ी लहर के बाद इस साल दिवाली मनाई जा रही है.बिहार के चार शहरों पटना, मुजफ्फरपुर, गया और हाजीपुर में पटाखे पर पूरी तरह से रोक लगा दी गई है. बिहार पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड के चेयमेन डॉ. एके घोष के अनुसार नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेश पर बिहार पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड ने लोगों की सुरक्षा के लिए यह फैसला लिया है. उन्होंने कहा कि इन पांच शहरों को छोड़ कर बाकी जगह पर रात 8 बजे से 10 बजे तक ही पटाखे छोड़ने की अनुमति है. पुलिस हर गली-गली में पहरा नहीं दे सकती इसलिए जब तक लोग जागरूक नहीं होंगे पटाखों पर लगा बैन सफल होना मुश्किल है.
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेश पर सभी जिलों के डीएम को पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड ने पत्र लिखा है. जिलाधिकारियों को इस बार की दिवाली में पोल्यूशन को नियंत्रित करने के लिए कहा गया है. नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने कई शोध के आधार पर यह फैसला दिया है कि दिवाली के दिन जिस तरह से पटाखे छोड़े जाते हैं वह काफी हानिकारक है. स्वास्थ्य से जुड़े जानकारों के अनुसार पटाखों से तरह-तरह के रंग कैडमियम, स्ट्रांसियम, बेरियम, लेड, आर्सेनिक, टीन आदि मिलाने से निकलते हैं. इन रंगीन धुंओं से का खतरनाक असर आंखों और लंग्स पर पड़ता है.
कोविड के बाद यह पहली दिवाली पटनाइट्स मना रहे हैं इसलिए भी इस बार ज्यादा सावधानी जरूरी है. बिहार में कोरोना का दूसरा फेज काफी खतरनाक रहा जो भी कोविड से गंभीर रुप से बीमार हुए उनका लंग्स काफी प्रभावित हुआ है. पटाखों से ध्वनि प्रदूषण का भी खतरा है. पहले लोग बीड़ी पटाखा छोड़ते थे तो वह लगातार नहीं छूटता था और कानों पर वैसा असर नहीं पड़ता था लेकिन अब चटाई बम मिलने लगे हैं. नॉन स्टॉप हाई डिसिबल आवाज इनसे निकलती है. बच्चों पर तो इसका असर और भी ज्यादा पड़ता है.
पोल्यूशन कंट्रोल बोर्ड लोगों में जागरुकता लाने के लिए चार नाटक ग्रुप का चयन किया है. ये ग्रुप पूरे पटना में नुक्कड़ नाटक करके लोगों को अगाह करेगा कि पटाखा फोड़ने पर रोक क्यों लगाया गया है. कोविड के बाद पटाखा छोड़ना और अधिक खतरनाक कैसे हो गया है? बोर्ड विज्ञापन के जरिए भी लोगों को जागरुक कर रहा है.पिछले साल दीपावली के बाद पटना में एयर पॉल्यूशन 251, गया में 161 और मुजफ्फरपुर में 301 था. एयर क्वालिटी इंडेक्स शून्य और 50 के बीच अच्छा, 51 और 100 के बीच संतोषजनक, 101 और 200 के बीच मध्यम, 201 और 300 के बीच खराब, 301 और 400 के बीच बहुत खराब और 401 और 500 के बीच एक्यूआई को खतरनाक की श्रेणी में माना जाता है.
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