सिटी पोस्ट लाइव :ऑक्सफर्ड कोरोना वायरस वैक्सीन को तैयार करने की तकनीक को लेकर एक नया विवाद पैदा हो गया है. दुनियाभर के कई मुस्लिम नेताओं ने वैक्सीन के बहिष्कार की अपील की है. ऑस्ट्रेलिया के एक इमाम ने तो इसे हराम करार देते हुए मुसलमानों से टीका न लगवाने को कहा है. दरअसल मुस्लिम नेताओं को इस वैक्सीन को बनाए जाने की तकनीकी को लेकर सवाल खड़े किए हैं.
दरअसल, इन लोगों का कहना है कि इस वैक्सीन को बनाए जाने की जो तकनीक है, वह धार्मिक रूप से स्वीकार नहीं है. ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी की वैक्सीन को भ्रूण की कोशिकाओं (सेल) में उगाया जाता है, जिसे दवा पैक होने से पहले हटा दिया जाता है. इस सेल को 1973 में नीदरलैंड में एक कानूनी गर्भपात से प्राप्त किया गया था. जिसके बाद इसमें बदलाव कर दिया गया था जिससे ये सेल्स लैब में लगातार डिवाइड होती रहें. कई धर्मों में इसे पाप माना जाता है, इसलिए धार्मिक नेता इसका विरोध कर रहे हैं. वहीं ऑक्सफर्ड की वैक्सीन दुनिया में प्रमाणिक रूस से ट्रायल में सबसे आगे मानी जा रही है.
कैथोलिक इस वैक्सीन के खिलाफ स्पष्ट रूप से खड़े हो गए हैं. वे जानते हैं कि यह हराम है, यह गैरकानूनी है. लेकिन, आप इसके विरोध के बजाय सरकार के साथ खड़े हैं? उन्होंने कहा कि उन लोगों पर शर्म करना चाहिए जो धर्म के खिलाफ सरकार के साथ खड़े हैं.
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