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Execlusive: दो कोरोना पॉजिटिव मरीजों के डर से क्यों हिल गई है बिहार सरकार?

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दो कोरोना पॉजिटिव मरीजों के डर से क्यों हिल रही है बिहार सरकार?

सिटी पोस्ट लाइव विशेष: बिहार में कोरोना तेजी से पावं पसारता जा रहा है.अबतक बिहार में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या 51 के आंकड़े को पार कर चुकी है.सीवान कोरोना का हॉटस्पॉट बन गया है. सीवान से अबतक 20 पॉजिटिव केस सामने आ चके हैं.लेकिन सरकार कोरोना के हॉट स्पॉट बनने को लेकर कम बेगूसराय को लेकर ज्यादा चिंतित है जहाँ अबतक केवल 5 कोरोना पॉजिटिव मामले सामने आये हैं. आखिर क्यों सिवान से ज्यादा खतरा बेगूसराय से है.क्यों बेगूसराय जिले ने सरकार की नींद उड़ा दी है.

 बिहार सरकार के सबसे बड़े नौकरशाह, राज्य के मुख्य सचिव दीपक कुमार के अनुसार बिहार में 51 कोरोना के पॉजिटिव मामले से सरकार ज्यादा प्परेशान नहीं है. उसे सिवान से भी डर नहीं लग रहा जहाँ सबसे ज्यादा 20 कोरोना पॉजिटिव केस सामने आया है.सरकार बेगूसराय में मिले दो कोरोना पॉजिटिव मरीजों को लेकर ज्यादा चिंतित है.ये दो लोग मरकज जमात से जुड़े हैं.ये पुलिस को ये नहीं बता रहे हैं कि उन्होंने कोरोना का चेन कहाँ कहाँ फैलाया है. मुख्य सचिव् के अनुसार सिवान और दुसरे जगहों पर पाए गए कोरोना पॉजिटिव मरीजों के चेन की पहचान कर ली गई है लेकिन बेगूसराय में मरकज जमात के लोगों का चेन कहाँ से कहाँ तक फैला है, पता नहीं चल पा रहा है.

मुख्य सचिव दीपक कुमार के अनुसार बिहार सरकार के लिए बेगूसराय में पकडे गए मरकज जमात से जुड़े दो लोग सरकार के लिए सबसे बड़ी चुनौती बन गए हैं.ये बेगूसराय में पकडे गए हैं. दोनों कोरोना पॉजिटिव हैं.ये कहाँ से आये, कहाँ कहाँ गए, किससे किससे मिले कुछ नहीं बता रहे हैं.राज्य के मुख्य सचिव दीपक कुमार ने सिटी पोस्ट लाइव के साथ एक एक्सक्लूसिव बातचीत में ये खुलासा किया है कि ये मरकज से जुड़े दो लोग ही सबसे बड़ा खतरा और सरकार के लिए चुनौती बन गए हैं क्योंकि उनका चेन कहाँ तक फैला है, पता नहीं चल पा रहा है.

सरकार बेगूसराय को लेकर कितना चिंतित है इस बात का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि जिले को सील कर दिया गया है. कोरोना के हॉट स्पॉट के तौर पर चिन्हित जिले के तीन गांव और मोहल्लों को सील करने के लिए अतिरिक्त पुलिस फोर्स भेजे गए हैं. पुलिस मुख्यालय के आदेश के बाद बेगूसराय के कुछ स्थानों को सील करने के लिए बीएमपी की 6 कंपनियां भेजी गई हैं.  इसके साथ दो कमांडेंट और कई अफसरों को भी वहां लगाया गया है.

इतना ही नहीं सरकार ने बेगूसराय में 2 IPS अफसरों की तैनाती कर दी है.बिहार पुलिस मुख्यालय ने कोरोना के प्रसार के रोकथाम एवं निरोधात्मक कार्रवाई को लेकर  बेगूसराय के डीआईजी कार्यालय में 2 आईपीएस अधिकारियों की प्रतिनियुक्ति  किया है.बिहार सैन्य पुलिस मुजफ्फरपुर के कमांडेंट सफी उल हक  और  बिहार सैन्य पुलिस जमुई के कमांडेंट विनोद कुमार को क्षेत्रीय पुलिस उपमहानिरीक्षक का कार्यालय बेगूसराय में प्रतिनियुक्त  किया गया है.  बिहार पुलिस हेड क्वार्टर के पुलिस महानिरीक्षक ने अपने आदेश में कहा है कि  प्रतिनियुक्त पदाधिकारी अपने साथ अपने वाहिनी से एक पुलिस उपाधीक्षक एवं अन्य सहयोगी कर्मियों को साथ ले जाएंगे.

दो कोरोना पॉजिटिव मरकज जमात के लोगों के पकडे जाने से क्यों बिहार  सरकार की नींद उड़ गई है.दरअसल, जमात चलाने के नाम पर बेगूसराय के एक गांव में छिपे 10 लोगों को पकड़ा गया है. इनमे से दो नाबालिग  कोरोना पॉजिटिव (Corona positive) हैं.ये लोग मरकज जमात से जुड़े हैं जो  धर्म प्रचार के नाम पर कई गांवों में जा चुके हैं, सैकड़ों लोगों के संपर्क में आ चुके हैं.डर का आलम ये है कि पटना जिलाधिकारी ने पटना-बेगूसराय सीमा को तत्काल सील करने का निर्देश जारी कर दिया है.

राज्य के मुख्य सचिव के अनुसार बेगूसराय में पकडे गए कोरोना पॉजिटिव मरकज जमात के दो लोगों से जुड़े चेन की पहचान नहीं हो पा रही है.वो धर्म प्रचार के लिए कई गावों में गए हैं. सैकड़ो लोग उनके संपर्क में आये हैं.उनके संपर्क में आये सभी लोगों की पहचान करना सरकार के लिए सबसे बड़ा सर दर्द साबित हो रहा है.

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