City Post Live
NEWS 24x7

एसपी ने बसनही थाने का किया सूपड़ा साफ, शराब बताकर दो एएसआई ने युवक से मांगी थी रिश्वत

थानेदार, अधिकारी सहित सभी जवानों को निलंबित कर किया लाईन हाजिर

- Sponsored -

-sponsored-

- Sponsored -

एसपी ने बसनही थाने का किया सूपड़ा साफ, शराब बताकर दो एएसआई ने युवक से मांगी थी रिश्वत

सिटी पोस्ट लाइव, स्पेशल : सहरसा एस.पी. राकेश कुमार ने आखिरकार खुद बसनही थाना जाकर ना केवल सभी कर्मियों से विस्तार से पूछताछ की बल्कि मिल रही शिकायत पर त्वरित कारवाई करते हुए, बसनही थाना का सूपड़ा ही साफ कर दिया। बीते कल शनिवार को नक्सल प्रभावित बसनही थाना पहुंचकर एस.पी.राकेश कुमार ने घण्टों अपना सर करीने से खपाया। बताते चलें कि दो पुलिस अधिकारी द्वारा शराब बरामदगी के नाम बारात जा रहे युवक के साथ, जबरदस्ती मारपीट कर राशि वसूलने और फंसाने के मामले में कड़ी कार्रवाई करते हुए, राकेश कुमार ने थानेदार से लेकर सिपाही तक को निलंबित करते हुए लाईन हाजिर कर दिया है। एस.पी राकेश कुमार शनिवार को बसनही थाना का निरीक्षण करने पहुंचे थे।

निरीक्षण के दौरान उन्होंने पूरे मामले की तहकीकात की ।कड़ी पूछताछ के दौरान असंतोषजनक जवाब मिलने पर एस.पी ने यह शख्त कार्रवाई करते हुए आदेश जारी किया। बताना लाजिमी है कि खगड़िया जिले के बैलदौड थाना क्षेत्र के हनुमान नगर निवासी सतीश कुमार साह ने सहरसा एसपी को आवेदन देकर बसनही थाना में कार्यरत स.अ.नि.अवनीश कुमार एवं स.अ.नि.कमलाकांत तिवारी पर बारात जाने के क्रम में जबरन पकड़ कर मारपीट कर राशि लेने व फिर झूठा मुकदमा करने का आरोप लगाया था। अपने आवेदन में पीड़ित ने लिखा है की वह अपने एक सहयोगी के साथ अपनी हीरो स्प्लेंडर मोटरसाइकिल जिसका नम्बर BR 34A 4871 है, पर सवार होकर एक बारात में शामिल होने सुपौल जिले के लखमिनियाँ गांव जा रहा था।

मध्य विद्यालय नरहैया के समीप एक बाईक पर सवार अवनीश कुमार व कमलाकांत तिवारी ने रोककर उनदोनों की जाँच करते हुए हाथ में लिए स्प्राईट की बोतल खोलने को कहा। बोतल खोलने के बाद दोनों अधिकारियों ने बोतल में शराब होने की बात कही। जबकि उनके द्वारा कोल्ड ड्रिंक बताया जा रहा था। पीड़ित ने आवेदन में आगे उल्लेख किया है कि तत्काल उसके पास रखे 500 रुपये उनदोनों ने ले लिए और पूरे मामले के निपटारे में पचास हजार रुपये का डिमांड किया। उनकी गाड़ी को पुलिस अधिकारी ने जब्त कर थाने में रख लिया और रुपये लाने की बात कही। दो दिन बाद वे दोनों अधिकारियों को 8 हजार रुपये दिए और गाड़ी छोड़ने की गुहार लगाई लेकिन वे 42 हजार और दो की जिद पर अड़े रहे। एसपी को आवेदन देने की सूचना पर बौखलाए दोनों पुलिस अधिकारियों ने आनन-फानन में पीड़ित के खिलाफ थाने में मामला दर्ज कर बिना जानकारी दिए दो गवाहों से हस्ताक्षर भी करवा लिया था।

अब हद की बात देखिए कि जिन दो लोगों को पुलिस ने अपना गवाह बनाया था, उन्हें इस घटना की कोई जानकारी नहीं थी। इधर शराब बरामदगी के नाम पर बारात जा रहे युवक से अवैध वसूली मामले में चौकीदार की पत्नी ने ए.एस.आई.कमलाकांत तिवारी व अवनीश कुंवर पर घर में घुसकर दुर्व्यवहार करने का आरोप अलग से लगाया था। एस.पी.राकेश कुमार ने पीड़ित युवक के खिलाफ दर्ज मुकदमे के गवाह और चौकीदार की पत्नी से अलग-अलग पूछताछ की, जिसमें पुलिस अधिकारियों की रिश्वतखोरी के लिए किए गए षड्यंत्र का खुलासा हो गया। पुलिस कप्तान ने इस मामले को बेहद संजीदगी से लिया और बसनही थाने की पूरी टीम को ही निलंबित करते हुए उन्हें लाईन हाजिर कर दिया। पुलिस कप्तान की यह कर्रवाई बेहद सटीक और शख्त मानी जायेगी। लेकिन इस घटना ने यह पूरी तरह से साफ कर दिया है कि पुलिस वाले रिश्वत के लिए किसी हद तक गिर सकते हैं। ये पुलिस वाले लाश की जेब से भी रुपये निकालने से बाज नहीं आ सकते। वेतन से अधिक लुत्फ ये पुलिस वाले रिश्वतखोरी से उठाते हैं।

सहरसा से संकेत सिंह की स्पेशल रिपोर्ट

-sponsored-

- Sponsored -

Subscribe to our newsletter
Sign up here to get the latest news, updates and special offers delivered directly to your inbox.
You can unsubscribe at any time

- Sponsored -

Comments are closed.