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सहरसा : प्रभु पासवान हत्या कांड का हो गया है खुलासा, 11 दिन बाद मिला था शव

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सहरसा : प्रभु पासवान हत्या कांड का हो गया है खुलासा, 11 दिन बाद मिला था शव

सिटी पोस्ट लाइव : गत माह छठ के खरना के दिन 12 नवम्बर को गायब हुए सहरसा के सराही पासवान टोला मुहल्ले के रहने वाले प्रभु पासवान की हत्या बेलहा स्थित अनिल कुमार चौधरी के आटा मिल में कर दी गई थी। सोमवार को भागलपुर से आई विधि विज्ञान प्रयोगशाला की टीम ने मिल से मिले खून के धब्बे समेत अन्य का नमूना एकत्रित किया था। इस हत्याकांड में सबसे खास बात यह है कि इस हत्याकांड में नामजद आरोपियों के अलावा कई अन्य के शामिल होने का भी खुलासा हुआ है। जिसकी गिरफ्तारी को लेकर पुलिस छापेमारी शुरू कर दी है लेकिन इस बात को पुलिस ने सार्वजनिक नहीं किया है।

सदर एसडीपीओ प्रभाकर तिवारी के नेतृत्व में इस मामले के नामजद आरोपित अनिल कुमार चौधरी के वार्ड नंबर 10 बेलहा टोला स्थित आटा मिल पहुंची पहुंची विधि विज्ञान प्रयोगशाला के सहायक निदेशक व एक्सपर्ट द्वारा मिल के अंदर बारीकी से जांच की गई थी। जांच के दौरान फर्श पर मिले खून के धब्बे को नमूने के तौर पर संग्रह किया गया। वैसे बताना जरूरी है कि हत्या के बाद खून को पानी डालकर धोने की भरपूर कोशिश की गई थी लेकिन खून पूरी तरह साफ नहीं हुआ था। यह टीम बीते 23 नवंबर को परसहा नहर के समीप जहां शव बरामद हुई थी, वहां भी गई थी और कुछ नमूने भी एकत्रित किये थे।

सूत्रों की मानें तो जमीन व पैसे के लेन-देन के कारण विश्वास में लेकर मृतक को मिल पर बुलाया गया, जहां उसकी हत्या कर दी गई। हत्या के बाद शव को परसाहा नहर के समीप मिट्टी के नीचे दबाकर ठिकाना लगा दिया गया। मिल व परसहा नहर की दूरी करीब ढ़ाई किलोमीटर है। सूत्र बताते हैं कि हत्यारों ने छठ पर्व का फायदा उठाकर उसके शव को ठिकाने लगा दिया। शव बाहर नहीं निकले इसको लेकर लोहे के रड से शव को बांध दिया गया था।

लापता होने के 11 दिन बाद मिला था शव…..

खरना के दिन प्रभु पासवान बाजार से पूजा की सामग्री खरीदने घर से निकला था जिसके बाद वह गायब हो गया था। इस मामले में सदर थाने में दस लोगों के खिलाफ नामजद प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी। इसी बीच 22 नवंबर की शाम नरियार के परसाहा नहर के समीप प्रभु पासवान का शव बरामद किया गया। जिसके बाद 23 नवंबर को लोगों ने सड़क जाम कर उग्र विरोध जताया था। इस मामले में अनिल कुमार चौधरी समेत अन्य नामजद आरोपित के अलावा कुछ और लोग भी शामिल हैं।

तकनीकी आधार पर अनुसंधान में सभी चीजों का खुलासा हो चुका है। सदर एसडीपीओ प्रभाकर तिवारी खुद इस हत्याकांड को देख रहे हैं। सभी आरोपित की गिरफ्तारी को लेकर छापेमारी जारी है। प्रभाकर तिवारी सदर इलाके में दबंग तिवारी के रूप में जाने जाते हैं। आमलोगों को प्रभाकर तिवारी पर काफी भरोसा है। श्री तिवारी ने कई चौंकाने वाले परिणाम भी दिए हैं। निसन्देह इस अधिकारी में खाकी की हनक दिखती है।

सहरसा से संकेत सिंह की रिपोर्ट

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