सिटी पोस्ट लाइव, देवघर: उपायुक्त नैंन्सी सहाय द्वारा जानकारी दी गयी कि संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा नशीली दवाओं का दुरूपयोग व अवैध तस्करी को रोकने उद्देश्य से इंटरनेशल डे अगेंस्ट ड्रग एब्यूज एंड इलीसीट ट्रैफिकिंग के रूप में मनाया जाता है। नशीली वस्तुओं और पदार्थों के निवारण के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 7 दिसंबर 1987 को यह प्रस्ताव पारित किया था और तभी से हर साल लोगों को नशीले पदार्थों के सेवन से होने वाले दुष्परिणामों के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से इसे मनाया जाता है। ऐसे में इसकी दुस्परिणाम व इससे होने वाले हानि से हम सभी अवगत हैं। वर्तमान में नशा, एक ऐसी बीमारी है जो कि युवा पीढ़ी को लगातार अपनी चपेट में लेकर उसे कई तरह से बीमार कर रही है। शराब, सिगरेट, तम्बाकू एवं ड्रग्स जैसे जहरीले पदार्थों का सेवन कर युवा वर्ग का एक बड़ा हिस्सा नशे का शिकार हो रहा है। वर्तमान में सामाजिक कार्यकर्ताओं, सामाजिक संगठनों, युवाओं तथा समाज के सभी वर्गों से आग्रह होगा कि नशामुक्ति के लिए सभी मिलजूल कर कार्य करें, ताकि इस बीमारी को जड़ से खत्म किया जा सके।
हम सभी जानते हैं कि मानव जीवन भगवान की सर्वश्रेष्ठ कृति है। आज मनुष्य चांद पर पहुंच गया है, लेकिन अपने ही समाज में फैली कुरीतियों से पार नहीं पा रहा है। नशा समाज में फैली ऐसी कुरीति है, जोकि मानव जीवन के लिए घातक सिद्ध हो रही है। नशे को खत्म करने के लिए भले ही अनेकों संस्थाएं व सामाजिक कार्यकर्ता काम कर रहे हों लेकिन जब तक समूचे समाज की भागीदारी इसमें नहीं होगी इस दिशा में सफलता हासिल नहीं की जा सकती है। हम सभी समाज का हिस्सा हैं और हम से ही समाज का निर्माण होता है। समाज की तरक्की व खुशहाली के लिए कार्य करना हर नागरिक का कर्तव्य है। मूक दर्शक होकर समाज को बर्बाद होते देखना सबसे बड़ा अपराध है। आज नशा हमारे समाज को बर्बाद कर रहा है, इसलिए हर नागरिक का यह कर्तव्य बनता है कि जिससे जो कुछ भी बनता है, समाज को नशा मुक्त करने में अपना सहयोग अवश्यक करें।
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