मुख्य सचिव के साथ पारा शिक्षकों की वार्ता विफल, 16 से घेरा डालो डेरा डालो कार्यक्रम
सिटी पोस्ट लाइव, रांची : झारखंड के पारा शिक्षकों ने सरकार के खिलाफ आर-पार की लड़ाई लड़ने का ऐलान किया है। एकीकृत पारा शिक्षक संघर्ष मोर्चा के प्रतिनिधिमंडल की मुख्य सचिव से वार्ता विफल होने केबाद पारा शिक्षकों ने गुरूवार को यह ऐलान किया है। मोर्चा के प्रतिनिधिमंडल ने सरकार से छत्तीसगढ़ के तर्ज पर पारा शिक्षकों को स्थायी करते हुए वेतनमान देने की मांग की थी। इस पर मुख्य सचिव ने असहमति जतायी। हालांकि मुख्य सचिव ने टेट पास प्रमाण पत्र की वैद्यता बढ़ाने, पारा शिक्षक कल्याण कोष का गठन और उनका मानदेय बढ़ाने पर फैसला करने का आश्वासन दिया। लेकिन पारा शिक्षक प्रतिनिधियों ने इसे मानने से इनकार कर दिया। मोर्चा का कहना है कि सरकार की संवेदनहीनता और पारा शिक्षकों के भविष्य के प्रति लापरवाही के खिलाफ अब आर-पार की लड़ाई लड़ी जायेगी। मोर्चा के प्रदेश संयोजक बजरंग प्रसाद ने इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि 15 नवम्बर को राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर राज्य के 67 हजार पारा शिक्षक मोरहाबादी मैदान में पहुंचेंगे। यदि मुख्यमंत्री पारा शिक्षकों के स्थायीकरण के साथ वेतनमान की घोषणा करते हैं, तो उनका जयकारा होगी, नहीं तो काला झंडा दिखाया जायेगा। 16 नवम्बर से घेरा डालो, डेरा डालो कार्यक्रम शुरू होगा। इससे पूर्व पारा शिक्षकों के प्रतिनिधियों के साथ सरकार की ओर से वार्ता में शिक्षा सचिव, परियोजना निदेशक और प्रशासी पदाधिकारी तथा संघीय शिष्टमंडल में बिनोद बिहारी महतो, संजय कुमार दूबे, ऋषिकेश पाठक, सिंटू सिंह, नरोत्तम सिंह मुंडा, दशरथ ठाकुर एवं मोहन मंडल उपस्थित थे।
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