सिटी पोस्ट लाइव : बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने अजीबो-गरीब बयान दिया है. उन्होंने आज एक संवाददाता सम्मलेन में कहा है कि वो अपने सीएम के कार्यकाल के अगले दो-चार महीने में बिहार में हो रहे घपले-घोटालों से संबंधित कई बड़े खुलासे करने वाले थे लेकिन इससे पहले ही उनसे सीएम की कुर्सी छीन ली गई. मांझी यानीं नहीं रुके उन्होंने यहाँ तक कह दिया कि समाज कल्याण विभाग पर उनकी खास नजर थी वो सबको नंगा करने वाले थे, खास कर वैसे लोग जो भ्रष्टाचार में शामिल थे.
मांझी ने कि एसेंबली सेशन के बाद मैं कई खुलासा करने वाला था चाहे वो भ्रष्टाचार का मामला हो या फिर अवैध निर्माण का. मेरी नजर समाज कल्याण विभाग जैसे उन महकमों पर भी थी जिनमें सबसे ज्यादा घपले होते थे. उन्होंने कहा कि मैं साजिश का शिकार हुआ और मुझे कुर्सी से हटा दिया गया. मांझी ने एलजेपी सुप्रीमो रामविलास पासवान पर भी जमकर निशाना साधा.उन्होंने कहा कि पासवान जी को तो पश्चाताप करनी चाहिए. जीतन राम मांझी ने कहा है कि 2 अप्रैल को भारत बंद से रामविलास पासवान ने पल्ला झाड़ लिया था.दलितों के आन्दोलन को बुरा भला कहा था और आज एसटी/ऐसी एक्ट में सुधार के लिए वाहवाही लूट रहे हैं. मांझी ने कहा कि इसके लिए पासवान को देश के दलितों से माफी मांगनी चाहिए.
जेडीयू नेता नीरज कुमार ने मांझी पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्हें अगर सीएम रहते कल्याण विभाग के चल रहे गडबडझाले की जानकारी थी, तब तो वहीँ इसके लिए जिम्मेवार हैं .उन्होंने क्यों नहीं की तुरत कारवाई? क्यों इंतज़ार करते रहे इतने दिनों तक .आज जब सरकार ने खुद इस मामले को उजागर ककर कारवाई शुरू कर दिया है तब मांझी को याद आ रहा है.नीरज ने कहा कि इसका तो यहीं मतलब है कि सीएम की कुर्सी पर रहते हुए मांझी ने जानकारी के वावजूद कोई कारवाई नहीं की. दोषियों को बचाया ? नीरज ने पूछा-क्या मांझी जी डील के इंतज़ार में थे ?
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