सवर्ण आरक्षण पर जेडीयू का स्टैंड : ये असंभव है, बेकार का बखेड़ा खड़ा कर रहे हैं लोग
सिटी पोस्ट लाइव : सवर्ण आरक्षण पर अब जेडीयू ने अपना स्टैंड साफ़ कर दिया है. जेडीयू के राष्ट्रिय महासचिव और नीतीश कुमार के सबसे करीबी सांसद आरसीपी सिंह ने रविवार को सवर्ण आरक्षण की मांग को सिरे से खारिज कर दिया है. उन्होंने आज जदयू कार्यसमिति की बैठक में सवर्ण आरक्षण पर हुई चर्चा के दौरान कहा कि सवर्ण आरक्षण का कोई सवाल ही नहीं उठता. हालांकि उन्होंने कहा कि आज की बैठक में इसके ऊपर कोई चर्चा नहीं हुई है.
लेकिन सूत्रों के अनुसार बैठक में सवर्ण आरक्षण पर चर्चा हुई है. आरसीपी सिंह ने मीटिंग में कहा कि संविधान में सवर्णों को आरक्षण की कोई व्यवस्था ही नहीं है. इस वजह से सवर्ण आरक्षण का प्रश्न ही नहीं उठता. उन्होंने यह भी कहा है कि सवर्ण आरक्षण की मांग करने वाले जानबूझकर बखेड़ा खड़ा करने की कोशिश कर रहे हैं. लेकिन जेडीयू कार्यसमिति की बैठक के बाद आरसीपी सिंह ने इस बात से इंकार कर दिया कि बैठक में सवर्ण आरक्षण पर कोई चर्चा हुई है.
आरसीपी सिंह ने कहा कि नीतीश सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं का लाभ हर वर्ग को मिल रहा है. BPSC क्वालीफाई करने पर SC-ST समुदाय के छात्रों को मिलने वाली सरकारी मदद के बारे में उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री का यह सोचना है कि समाज के सबसे पिछड़े व्यक्ति तक लाभ पहुंचे.आरसीपी सिंह ने कहा कि सीटों पर समझौता अपने अंतिम पड़ाव में है. बहुत जल्द ही सीटों के बारे में औपचारिक घोषणा की जाएगी.
लेकिन सबसे ख़ास बात ये है कि दलित पॉलिटिक्स करनेवाले दलित नेता भी अब गरीब सवर्णों को आरक्षण के पक्ष में खड़े दिख रहे हैं. लेकिन पारंपरिक तौर पर सवर्णों की पार्टी मानी जाने वाली बीजेपी इस मसाले पर चुप्पी साधे हुई है. कांग्रेस ने इस मांग का समर्थन करते हुए गरीब सवर्णों को 10% आरक्षण दिए जाने की मांग की है .वहीँ रामविलास पासवान से लेकर जीतन राम मांझी जैसे दलित नेता भी लगातार सवार्वों के लिए आरक्षण की हिमायत कर रहे हैं.लेकिन बीजेपी जिसे फैसला लेना है ,वह चुप है.
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