सिटी पोस्ट लाइव, खूंटी: लोकसभा के पूर्व उपाध्यक्ष पद्मभूषण कड़िया मुंडा ने कहा कि अन्नदान से सबसे बड़ा दान है। इससे गरीबों को मदद तो मिलती ही है, समाज में सहयोग और समानता का भाव आता है। कड़िया मुंडा रविवार को तोरपा प्रखंड के सुंदारी गांव स्थित एनडी ग्रोवर डीएवी पब्लिक स्कूल में महर्षि दयानंद अन्नपूर्णा योजना की शुरूआत करने के बाद विचार व्यक्त कर रहे थे।
कार्यक्रम का आयोजन आर्य समाज रांची और झारखण्ड राज्य आर्य प्रतिनिधि सभा के सहयोग से किया गया। इसके पूर्व पर्यावरण हवन यज्ञ का आयोजन किया गया, जिसमें कड़िया मुंडा, आर्य समाज के प्रधान राजेंद्र कुमार आर्य, संजय पोद्दार, मन्नू देवी, पूरनचंद आर्य आदि ने भाग लिया।
विमलेंद्र शास्त्री, प्रकृत आर्य और प्रदुम्न शास्त्री ने वैदिक मंत्रोच्चार के साथ हवन संपन्न कराये। मौके पर सौ से अधिक जरूरतमंद लोगों के बीच चावल, दाल, आलू और अन्य खाद्य सामग्री का वितरण किया गया। पद्मभूषण कड़िया मुंडा ने कहा कि गरीबों की मदद करने से बड़ा कोई धर्म नहीं है। डीएवी स्कूल की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि इस मुकाम तक पहुंचने के लिए कई तरह की कठिनाइयों का समाना करना पड़ा।
कड़िया मुंडा ने कहा कि ईश्वर मनुष्य को शिक्षा देने के लिए कई तरह की परीक्षा लेता है। कोरोना संक्रमण के दौरान लोगों में सहयोग की भावना बढ़ी। लोग काफी संख्या में जरूरतममंदों की मदद के लिए सामने आये। मुंडा ने मैट्रिक परीक्षा में बेहतर प्रदर्शन करने वाले छात्र-छात्राओं को शुभकामना देते हुए कहा कि गरीबी के बीच पढ़ाई करने वाले ऐसे छात्र वास्तव में बधाई के पात्र हैं।
आर्य समाज के प्रधान राजेंद्र कुमार ने कहा कि हवन यज्ञ से वातावरण शुद्ध होता है। आर्य समाज अब तक एक हजार से अधिक हवन यज्ञ करा चुका है। उन्होंने लोगों का आह्वान किया कि पर्यावरण की सुरक्षा के लिए हर गांव में हवन यज्ञ करायें। समाज के महामंत्री पूरनचंद आर्य ने कहा कि हवन यज्ञ और राशन वितरण लोगों के बीच संवाद कायम करने के माध्यम हैं। उन्होंने कहा कि पर्यावरण संरक्षण से ही हमारा जीवन सुरक्षित और दृढ़ होगा। समाजसेवी डॉ निर्मल सिंह ने अतिथियों का स्वागत किया और कार्यक्रम के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि हमें हर हाल में अपने पुरखों की संस्कृति को बचाकर रखना है। मौके पर गंझू प्रधान, गांयत्री सिंह, पुरेंद्र मांझी सहित काफी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे।
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