आचार संहिता लागू होने के बावजूद PK ने की थी पियू कैंपस में एंट्री, गर्म हुई सियासत
सिटी पोस्ट लाइव : पटना विवि में छात्र संघ चुनाव को लेकर गहमागहमी जारी है. सभी छात्र संगठन अपने चुनावी प्रचार में दिन-रात व्यस्त हैं. कोई भी छात्र संगठन किसी से भी चुनाव प्रचार में पीछे नहीं रहना चाह रहा है. वहीँ प्रशांत किशोर पर हमले की खबर ने राजनीतिक गलियारे में गरमा गर्मी और बढ़ा दी है. बता दें सोमवार को प्रशांत किशोर पटना विवि के कुलपति रासबिहारी सिंह से मिलने गये थे. यह बात जैसे ही छात्र संगठनों को पता चला सभी छात्र संगठन एक होकर कुलपति आवास के बाहर नारेबाजी करने लगे. वहीं प्रशांत किशोर एवं विवि के कुलपति की फोटो आवास में एक साथ बैठे हुए जैसे ही वायरल हुई छात्र और आक्रोशित हो गयें. छात्रों का काहना था कि पीके छात्र संघ चुनाव को प्रभावित करने की कोशिश कर रहे हैं. वे अपने प्रत्याशियों के पक्ष में चुनाव जिताने को लेकर कुलपति से मिलने आए हैं.
वहीं अब जदयू की सहयोगी पार्टी भारतीय जनता पार्टी भी खुलकर विरोध में सामने आ गई है. बातें जो सामने आ रही हैं उससे पता चलता है कि इस मुद्दे पर भारतीय जनता युवा मोर्चा के कार्यकर्ताओं ने भी दुसरे छात्र संगठनों के साथ मिलकर सोमवार की रात को प्रशांत किशोर पर हमला किया था. वे इस हमले में बाल-बाल बचें. हालांकि पत्थराव में उनकी गाड़ी के शीशे टूट गयें. गाड़ी क्षतिग्रस्त हो गया. पुलिस ने किसी तरह उनको वहाँ से सुरक्षित बाहर निकाला. पुलिस को छात्रों पर लाठी चार्ज भी करना पड़ा. इसके बाद भाजयुमो के प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल से मिलकर पटना विवि छात्र संघ चुनाव में आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत की.
इस प्रकार समझा जा सकता है कि ABVP छात्र संगठन भी अब जदयू का खुलकर विरोध कर रही है. वहीं भाजपा के बड़े नेता सीपी ठाकुर ने भी बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि अगर भाजपा के विवि छात्र संगठन पर हमला होता है तो वे चुप नहीं बैठेंगे. वे मुंह में दही जमाकर नहीं बैठे हैं. विवि संगठन के छात्र मेरे बच्चे हैं. उन्होंने ABVP के कार्यालय पर की गई छापेमारी को भी दुर्भाग्यपूर्ण बताया.
वहीं इस मामले पर विवि के कुलपति रासबिहारी सिंह ने कहा कि उन्हें मालूम नहीं था कि प्रशांत किशोर आनेवाले हैं. कुलपति ने कहा कि आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव व्यास जी ने भूकम्परोधी उपकरण के सिलसिले में बात की थी. उपकरण को मार्च तक लगना है. इसे लेकर उदयकांत मिश्र को 4.30 संध्या तक मिलने का समय दिया गया था. इस बात की मुझे जानकारी नहीं थी कि प्रशांत किशोर भी साथ आयेंगे. अगर मालुम होता तो समय नही देता. प्रशांत किशोर ने इस मुद्दे पर कहा कि उनका कुलपति से मिलने का कोई पूर्व निर्धारित कार्यक्रम नहीं था. उदयकान्त मिश्र उनके चाचा लगते हैं. वे एक पार्टी में उधर से जा रहे थें तो कुलपति आवास में साथ छोडने चले गये थें. इससे बात को लेकर छात्रों ने बवाल कर दिया. अगर मैं जानता कि ऐसा होगा तो मैं नही जाता.
जेपी चंद्रा की रिपोर्ट
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