राम मंदिर निर्माण को लेकर मोदी सरकार का बड़ा दांव, SC से मांगी गैर-विवादित जमीन
सिटी पोस्ट लाइव : सुप्रीम कोर्ट में आज राम मंदिर पर सुनवाई होनी थी, लेकिन जस्टिस बोबडे के छुट्टी पर चले जाने से सुनवाई टल गई। जहां इस मामले पर अब विवाद बढ़ता जा रहा है वहीं अब केंद्र की मोदी सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है। सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर अयोध्या में गैर विवादित जमीन मांगी। इतना ही नहीं सरकार ने कहा कि जो जमीन हिंदू पक्षकारों को दी गई है उसे रामजन्मभूमि न्यास को दे दिया जाए। साथ ही 2.77 करोड़ का कुछ हिस्सा भारत सरकार को लौटा दिया जाए। इससे पहले इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इस पर फैसला सुनाते हुए पक्षकारों को जमीन बांटी थी। इसमें अभी भी भूमि पर विवाद है, वह जमीन 0.313 एकड़ ही है।
मोदी सरकार का कहना है कि जिस जमीन पर विवाद नहीं है उसे वापस सौंपा जाए। आपको बता दें कि 30 सितंबर 2010 को इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ खंडपीठ ने अयोध्या विवाद को लेकर फैसला सुनाया था। इस बेंच में जस्टिस सुधीर अग्रवाल, जस्टिस एस यू खान और जस्टिस डी वी शर्मा की बेंच ने अयोध्या में 2.77 एकड़ की विवादित जमीन को 3 हिस्सों में बांट दिया था।इस पर सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि अयोध्या में मंदिर बनाने का आधा काम अब हो गया है। स्वामी ने कहा कि सरकार चाहे तो अब गैर विवादित जमीन पर मंदिर का निर्माण काम शुरू कर सकती है।
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