सिटी पोस्ट लाइव : आरएलएसपी सुप्रीमो और पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने भी अपना घोषणा पत्र जारी कर दिया है। उन्होंने इसे ‘ वचन पत्र’ का नाम दिया है। उन्होंने कहा है कि न 15 साल वाली वो सरकार ना 15 साल वाली ये सरकार अबकी बार शिक्षा और रोजगार वाली सरकार। इसके साथ ही उपेंद्र कुशवाहा ने बिहार की जनता से बेहतर शिक्षा, ज्यादा से ज्यादा रोजगार देने का वादा किया है।
उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि जनता हमें पांच साल का मौका दे। हमारी सरकार हर वादा को पूरा करेगी । उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने 15 साल में कोई काम नही किया है। शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था को चौपट कर दिया है। हम 15 माह में हर वादा पूरा करके दिखाएंगे। पीएम नरेंद्र मोदी पर भी निशाना साधा । कहा कि पीएम ने अपने राज में कितने युवाओं को रोजगार दिए।
कुशवाहा ने अपने वचन पत्र में शिक्षा के क्षेत्र में व्यापक सुधार पर जोर दिया है। कहा है कि जमुई स्थित सिमुलतला विद्यालय की तरह राज्य के कई शहरों में ऐसे स्कूल खोले जाएंगे। इसके अलावा कमाई यानी राेजगार बढ़ाने और दवाई यानी स्वास्थ्य के क्षेत्र में सुधार का वचन दिया है।
शिक्षा में सुधार के लिए किए गये वचनों पर डालते हैं एक नजर
1. विभिन्न स्तरों पर शिक्षकों के रिक्त पदों पर शीघ्र बहाली की जाएगी।
2. स्कूल शिक्षकों की बहाली के लिए बीपीएससी के की तरह आयोग का गठन ।
3.TET के लिए अनिवार्य रूप से ऑनलाइन पद्धति अपनाई जाएगी।
4. 2003 एवं उसके बाद बहाल शिक्षकों का पुनर्मूल्यांकन आयोग द्वारा किया जाएगा।
5. मूल्यांकन में उत्तीर्ण शिक्षक पद पर बने रहेंगे।
6. मूल्यांकन में अनुतीर्ण शिक्षकों को दूसरे विभागों में समायोजित किया जाएगा।
7. राष्ट्रीय शिक्षक शिक्षा परिषद द्वारा आयोजित मानकों के अनुसार ही शिक्षकों की बहाली होगी।
8. प्राथमिक विद्यालयों में भी कम से कम 1 शिक्षक विज्ञान का होगा।
9. विश्वविद्यालयों में विषयवार शिक्षकों की बहाली होगी।
10. शिक्षकों को पूर्ण वेतनमान देंगे।
11. उर्दू शिक्षकों की बहाली होगी।
12. शिक्षकों को गैर शैक्षणिक कार्यों से मुक्त किया जाएगा।
13. शिक्षक और छात्रों की उपस्थिति के लिए बायोमिट्रिक सिस्टम लगेगा।
14. प्रयोगशाला और पुस्तकालय की व्यवस्था अनिवार्य रूप से करेंगे।
15. सभी कक्षाओं में बच्चों के मूल्यांकन के आधार पर ही प्रोन्नति होगी.
16. कक्षा में छात्रों की उपस्थिति कम से कम 75% होने पर ही परीक्षा की अनुमति दी जाएगी।
17. मि़ड-डे-मील से शिक्षकों को किया जाएगा अलग।
18. पुस्तकों की उपलब्धता सुनिश्चित करेंगे।
19. निजी विश्वविद्यालयों के नामांकन में आरक्षित 25% कोटा को अभियान चलाकर भरेंगे।
20. प्राइवेट स्कूलों में हो रही अनियमितता को रोकने के लिए विशेष नियामक की व्यवस्था की जाएगी।
21. शिक्षक प्रशिक्षण विश्वविद्यालयों, महाविद्यालयों के शिक्षकों की उपस्थिति आधार से लिंक करते हुए बायोमिट्रिक पद्धति से कराएंगे।
22. मदरसों का आधुनिकीकरण अविलंब करेंगे।
23. विश्वविद्यालयों महाविद्यालयों में व्यावसायिक विषयों के शिक्षकों की बहाली अनिवार्य रूप से होगी।
24. राज्य के बाहर मान्यता प्राप्त तकनीकी शिक्षण संस्थानों में पढ़ रहे छात्रों को सरकार द्वारा घोषित छात्रवृत्ति समय पर अनिवार्य रूप से देंगे।
25. विश्वविद्यालयों महाविद्यालयों में छात्रसंघ का चुनाव नियमित रूप से करवाएंगे।
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