सुशील मोदी की सलाह पर JDU का पलटवार.
बिहार में जहरीली शराबकांड पर विजय चौधरी और सुशील मोदी में वार-पलटवार जारी.
सिटी पोस्ट लाइव :बिहार में जहरीली शराब से मौत को लेकर सियासी बवाल मचा हुआ है.विपक्ष तो हमलावर है ही साथ ही सत्ताधारी दल के नेता भी नीतीश कुमार पर निशाना साध रहे हैं.विपक्ष लगातार मुआवजे की मांग पर अड़ा है, तो सत्ता पक्ष जेडीयू विपक्ष को शराबबंदी के लिए बनाए गए एक्ट को पढ़ने की सलाह दे रहा है. पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने आरोप लगाया है कि झूठे आंकड़े पेश कर नीतीश सरकार वाहवाही लूटने में लगी है. दूसरे राज्यों से बिहार की स्थिति को बेहतर बता रही है.
सुशील मोदी ने कहा कि जब सरकार ने कुबूल कर लिया कि जहरीली शराब से मौत के मामले में मुआवजा देने का प्रावधान है, तब पीड़ित परिवारों को पहले मुआवजा मिलना चाहिए. नियमानुसार, मुआवजा राशि की वसूली जहरीली शराब बनाने-बेचने वालों से बाद में भी हो सकती है. उन्होंने कहा कि गरीबों को मुआवजा देने को नीतीश कुमार अपनी प्रतिष्ठा का प्रश्न न बनाएं. मोदी ने कहा कि जहरीली शराब से मरनेवालों के गरीब आश्रितों को मुआवजा देने से बचने के लिए सरकार ने पहले नियम को लेकर झूठ बोला और अब बिहार में जहरीली शराब से मरने वालों के बारे में भी झूठे आंकड़े पेश कर चेहरा चमका रही है.
पूर्व डिप्टी सीएम ने कहा कि एक तरफ बिहार सरकार अपनी रिपोर्ट में सिर्फ 2016 में शराब सेवन से सात लोगों की मौत की बात कह रही है, वहीं दूसरी तरफ उसी साल जहरीली शराब सेवन से मरने वाले 19 लोगों के परिवार को चार-चार लाख मुआवजा भी देती है. राज्य सरकार की ओर से राष्ट्रीय अपराध अनुसंधान ब्यूरो ( NCRB) को भेजी गई उस रिपोर्ट को आधार बना कर सरकार के झूठ को आईना दिखाया, जिसके अनुसार 2016-2021 के बीच बिहार में शराब सेवन से सिर्फ 23 लोगों की मौत हुई.
जहरीली शराब से हुई मौत पर बीजेपी के द्वारा हंगामा और मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की मांग पर वित्त मंत्री विजय चौधरी की बात पर सुशील मोदी ने कहा कि उनको आधी बात की जानकारी है, उनको पहले पूरा एक्ट पढ़ना चाहिए. उन्होंने कहा कि एक्ट में यह लिखा हुआ है कि जो शराब माफिया तस्कर इसके लिए जिम्मेदार हैं उनसे मुआवजा वसूलकर मृतकों के परिवार को सरकार देगी और यही एक्ट में प्रावधान है.
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