बिहार: सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद आर-पार के मूड में नियोजित शिक्षक,करेंगे हड़ताल
सिटी पोस्ट लाइव – सामान काम सामान वेतन के मामले में बिहार के नियोजित शिक्षक अब आर -पार की मूड में आ गये हैं. अब वे बिहार सरकार से दो -दो हाथ करने के बारे में तैयारी कर रहे हैं. दरअसल लम्बे समय से इस मांग को लेकर शिक्षक संघ का सुप्रीम कोर्ट में मामला चल रहा था जिसपर सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा था. लेकिन शुक्रवार यानी 10 अप्रैल को उनके मांग को कोर्ट ने खारिज कर दिया. इसके बाद ही इसपर प्रमुख विपक्षी पार्टियों के बयान आना शुरू हो गया. अब प्रारंभिक शिक्षक संघ के प्रदेश महासचिव आनंद मिश्रा ने चेतावनी दी है कि गर्मी छुट्टी के बाद शिक्षक सरकार से लड़ने को तैयार है और शिक्षक हड़ताल पर जा सकते हैं. इसके लिए अगली रणनीति तैयार की जा रही है. शिक्षकों ने इसे सरकार की साजिश करार दिया.
शिक्षक संघ ने बिहार सरकार को शिक्षक विरोधी करार दिया और कहा कि सरकार की मंशा है कि स्कूलों में पठन-पाठन ठप कर दिया जाए. शिक्षकों के साथ-साथ गरीब बच्चों के साथ भी छलावा हो रहा है. संघ महासचिव ने कहा कि सरकार के खिलाफ सभी संघ बड़े आनंदोलन की तैयारी कर रही है और सरकार को लोकसभा चुनाव के साथ-साथ विधानसभा चुनाव में भी इसका जवाब दिया जाएगा. नियोजित शिक्षक संघ ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट से केस हारने के बाद पुनर्विचार याचिका दाखिल करने का भी निर्णय लिया है. शिक्षकों के वकील ने बताया कि इस फैसले के खिलाफ हम एक पुनर्विचार याचिका दाखिल करेंगे. वहीं औरंगाबाद जिले में रफीगंज नगर पंचायत के कन्या विधालय में कार्यरत शिवपूजन दास शिक्षक ने कहा कि सरकार को एक समान नीति रखनी चाहिए. हम नियोजित शिक्षक भी सामान कार्य करते हैं तो हमें समान वेतन क्यों नहीं ?
आपको बता दें कि बिहार में शिक्षकों की काफी कमी है जिसे लेकर TET-STET पास अभ्यर्थी समय -समय पर सड़कों पर आन्दोलन करते रहे हैं लेकिन सरकार सुप्रीम कोर्ट में केस का हवाला देकर नई बहाली से इनकार करती रही है. एस.टी.ई.टी उतीर्ण संघ अभ्यर्थियों के सरंक्षक आदित्य नारायण पाण्डेय, इस संघ के अध्यक्ष धनंजय कुमार एवं नेता अखिलेश कुमार यादव का कहना है कि हमलोगों के सर्टिफिकेट की वैधता भी समाप्त होनेवाली है लेकिन सरकार सुन नहीं रही है. हमलोगों ने कई बार इसके लिए शिक्षा मंत्री और नीतीश कुमार से गुहार लगाया है ताकी हमलोगों का सम्पूर्ण नियोजन हो सकें
जे.पी.चंद्रा की रिपोर्ट
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