तेज प्रताप और तेजस्वी ने किया कर्बला के शहीदों को नमन, जनता को दिया संदेश
सिटी पोस्ट लाइव : माय ( मुस्लिम-यादव) समीकरण की बदौलत लगभग डेढ़ दशक तक सत्ता में बने रहनेवाले लालू यादव के बेटे तेजस्वी यादव के हाथ में अब पार्टी की कमान है. तेजस्वी यादव अपने इस आजमाए हुए सबसे भरोसेमंद माय समीकरण को सहेजने में जुटे हैं. मुहर्रम का पाक महीना चल रहा है. मुहर्रम की दसवीं तारीख को हजरत इमाम हुसैन की शहादत के रूप में याद किया जाता है. पुरे देश के मुसलमान इस दिन को गम के रूप में मनाते हैं और कर्बला के शहीदों को याद करते हैं. लालू यादव के पुरे परिवार ने आशूरा की पूर्व संध्या पर हज़रत इमाम हुसैन और तमाम सोहदा-ए-कर्बला की अज़ीम कुर्बानियों और शहादत को नमन किया.
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने कहा कि हज़रत इमाम हुसैन ने हक और इंसाफ के लिये कुर्बानी दी. उन्होंने अपने और अपने 72 जानिसारों के साथ कर्बला की जमीन पर यज़ीद के साथ जंग लड़ते हुए कुर्बानी दी. उनकी कुर्बानी अमर रहेगी और रहती दुनिया मे इसे याद किया जाएगा. उन्होंने जुल्म, आतंक, नाइंसाफी के विरुद्ध कभी भी सर झुकाने की नहीं बल्कि सर कटा लेने की जो शिक्षा दी है उसका लोग अनुसरण करेंगे. हक और इंसाफ के लिये आवाज़ बुलंद करते रहेंगे. जुल्म, आतंक, नाइंसाफी के विरुद्ध सच, भलाई और इंसानियत का साथ देंगे.
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने मुहर्रम के त्योहार को मेल-जोल और आपसी भाईचारा एवं सौहार्द के साथ मनाए जाने की अपील की .गौरतलब है कि यौमे आशूरा करबला में इमाम हुसैन की शहादत की याद में मनाया जाता है. हुसैन पैंग़ंबर हज़रत मोहम्मद के नवासे थे. शिया मुसलमान इस दिन उपवास रख कर उस घड़ी को याद करते हैं. इस दिन ताज़िए निकाल कर और मातम कर के 680 ईस्वी में आधुनिक इराक़ के करबला शहर में हुसैन की शहादत का ग़म मनाया जाता है. शिया पुरुष और महिलाएँ काले लिबास पहन कर मातम में हिस्सा लेते हैं.
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