सिटी पोस्ट लाइव : कहते हैं प्यार अंधा होता है, न रंग देखता है न रूप और न ही जाती. लेकिन जब प्यार परवान चढ़ता है तो प्रेमी-प्रेमिका जात और धर्म की दीवारों को तोड़ने में जरा भी नहीं हिचकते हैं. एक ऐसा ही मामला नवादा जिला के गोविंदपुर प्रखंड के वेला हरना गांव का है। बेला हरना गांव के रंजीत पमरिया की पुत्री (प्रियंका) कुमारी तथा प्रगाश यादव का पुत्र (बिट्टू कुमार) है। इन दोनों में करीब दो वर्ष पूर्व फोन के माध्यम से प्यार का सफर शुरू हुआ था। धीरे-धीरे दोनों एक-दूसरे के करीब आ गए।
लेकिन युवक एवं युवती के घर वाले इस विवाह से राजी नहीं थे। इसी बीच बिते सोमवार को दोनों घर से भाग कर नवादा के एक मंदिर में प्रेमी प्रेमिका ने अंतरजातीय शादी रचा ली। और मंगलवार को युवक लड़की को लेकर अपने घर पहुंचा जिसे परिजन द्वारा घर में घुसने से रोक दिया , प्रेमी जोड़े दोनों रात भर गांव के गौशाला में रहे। जिसकी सुचना ग्रामीणों द्वारा गोविंदपुर थाना को दिया गया।
सुचना मिलने पर बुधवार कि सुबह थानाध्यक्ष डॉ नरेन्द्र प्रसाद ने प्रेमी जोड़े को गोविंदपुर थाना में बुला कर पूछा गया तो दोनों लड़का ,लड़की ने कहा कि हम अपनी मर्जी से शादी किए हैं. हम घर नहीं जाएंगे, बाहर में रहकर अपनी जीवन बिता लेंगे। दोनों के परिजन के विरोध के बाद भी दोनों हिम्मत न हारे। और एक साथ शादी के बंधन बंध कर रहने कि बात कही। और प्रेम की पवित्र परिभाषा दी है।
बताया जाता है कि सोमवार को युवती अपने मां ,पिता को छोड़कर प्रेमी के साथ नवादा के कोई स्थान पहुंच गई। जहां दोनों ने मांग पर सिंदूर देकर परिणय सूत्र में बंध गए। लड़का एंव लड़की दोनों के पिता ने कहा कि यह दोनों अपनी मर्जी से विवाह किया तो दोनों अपना साथ रहे हम लोगों को कोई आपत्ती नहीं है। इसके साथ ही दोनों के पिता ने घर जाने पर युवक युवती को मना कर दिया । इसके बाद दोनों प्रेमी प्रेमिका ने अपने अपने माता-पिता के घर को छोड़ कर अपना वैवाहिक जिंदगी बिताने के लिए पिता के घर छोड़ कर चले गए। वहीं गोविंदपुर थानाध्यक्ष ने बताया कि दोनों बालिग हैं।
नवादा से दिनेश गुप्ता की रिपोर्ट
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