सिटी पोस्ट लाइव : तीहरे हत्याकांड को लेकर गोपालगंज जिले से एक बड़ी खबर आ रही है. पुलिस ने जेडीयू विधायक पप्पू पांडेय के करीबी शम्भू मिश्रा के हत्या के मामले में कुख्यात पूर्व मुखिया उमेश शाही पर इतना दबाव बनाया कि उसने कोर्ट में जाकर सरेंडर करने की कोशिश की लेकिन उसके पहले ही पुलिस ने उसे धर दबोचा. पुलिस उससे पूछताछ में लगी हुई है. गोपालगंज के मीरगंज थाने की पुलिस ने इस कुख्यात पूर्व मुखिया उमेश शाही को गिरफ्तार कर लिया है. जेडीयू विधायक पप्पू पांडेय के करीबी शम्भू मिश्रा की हत्या का आरोप इसके ऊपर है.
गौरतलब है कि कुख्यात पूर्व मुखिया उमेश शाही दिवंगत भाजपा नेता कृष्णा शाही का भाई है. लगभग एक महीने पहले चर्चित सतीश पाडेय के करीबी ठेकेदार शंभू मिश्रा की हत्या की गई थी. इस घटना के बाद से उचकागांव में लोगों के बीच दहशत कायम हो गया था. ठेकेदार शंभू मिश्रा राजापुर और पुरखास में हुए नरसंहार के बाद चर्चा में आए थे. ठेकेदार व्रजेश राय हत्याकांड में भी शंभू मिश्रा का नाम सामने आया था. इसकी हत्या के बाद जिला परिषद के अध्यक्ष मुकेश पाण्डेय मृतक के स्वजनों को सांत्वना देने पहुंचे थे. जिसे पुलिस ने राजद नेता जेपी यादव के परिजनों की हत्या मामले में अरेस्ट किया है.
पुलिस ठेकेदार की हत्या कर फरार हुए अपराधियों की धरपकड़ के लिए छापेमारी अभियान चला रही थी. इस मामले में लगभग एक महीने बाद पुलिस को एक बड़ी सफलता हाथ लगी है. पुलिस ने कुख्यात पूर्व मुखिया उमेश शाही को गिरफ्तार कर लिया है. चर्चित हत्याकांड को लेकर उससे पूछताछ की जा रही है. पुलिस सूत्रों ने बताया कि एक दशक पूर्व शंभू मिश्रा का खौफ पूरे हथुआ और गोपालगंज अनुमंडल में था. शंभू मिश्रा पर पूर्व में गोपालपुर, कुचायकोट, नगर थाना और कटेया थाना में कई आपराधिक मामले दर्ज थे. पुलिस सूत्रों ने बताया कि वर्ष 2005 में गोपालपुर थाना क्षेत्र के राजापुर और पुरखास गांव में अपराधियों ने नरसंहार करते हुए एक ही रात पांच लोगों की हत्या कर दी थी. इस नरसंहार के बाद शंभू मिश्रा चर्चा में आए थे. ब्रजेश राय हत्याकांड में भी शंभू मिश्रा का नाम आया था.
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