उपेन्द्र कुशवाहा का PM मोदी पर निशाना- मुझसे बातचीत के लिए भी PM को नहीं है फुर्सत

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उपेन्द्र कुशवाहा का PM मोदी पर निशाना- मुझसे बातचीत के लिए भी PM को नहीं है फुर्सत

सिटी पोस्ट लाइव : अबतक सीट शेयरिंग को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से हस्तक्षेप की उम्मीद लगाए बैठे रालोसपा सुप्रीमो उपेन्द्र कुशवाहा का सब्र अब जबाब देने लगा है. 30 नवम्बर तक की डेटलाइन पार कर जाने के बाद भी प्रधानमंत्री मोदी ने उन्हें मिलने के लिए न तो समय दिया है और ना ही उन्होंने कुशवाहा से फोन पर कोई बातचीत की है. जाहिर है बीजेपी ने अब उपेन्द्र कुशवाहा को अपनी तरफ से साफ़ संकेत दे दिया है –“ रहना है तो साथ रहिये, जाना है तो जाइए.आपको 2 से ज्यादा सीटें नहीं मिलेगीं. ये ईशारा अब उपेन्द्र कुशवाहा की समझ में भी आ गया है. उन्होंने आज शनिवार को कहा कि प्रधानमंत्री ने न मिलने का समय दिया और ना ही उनसे फोन पर बात करने को तैयार हैं. उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि PM इतना व्यस्त नहीं हैं कि उन्हें उनसे बात तक करने का समय नहीं मिल रहा है.

उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि बाल्मीकि नगर में 5-6 दिसंबर को पार्टी की राष्ट्रिय कार्यकारिणी की बैठक हो रही है. इस बैठक में पार्टी के तमाम नेता कार्यकर्त्ता शामिल होगें. पार्टी के नेता और कर्यकर्ता इस बैठक में फैसला करेगें कि उन्हें क्या करना चाहिए. उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि अब ये बात साफ़ हो गई है कि NDA में उन्हें नजर-अंदाज किया जा रहा है. अब सुलह की गुंजाइश खत्म होती दिख रही है.कुशवाहा ने कहा कि उन्होंने अपनी तरफ से सुलह की पूरी कोशिश की. लेकिन अब अपने मान- सम्मान के साथ समझौता मंजूर नहीं है. अब पार्टी के कार्यकर्त्ता जो फैसला लेगें, वो करेगें.गौरतलब है कि पहले ये माना जा रहा था कि जबतक उपेन्द्र कुशवाहा की बात राहुल गांधी से महागठबंधन में जाने को लेकर नहीं हो जाती है, तबतक NDA छोड़ने का फैसला वो नहीं लेगें. लेकिन अब जिस तरह से BJP की तरफ से उन्हें मनाने के लिए कोई पहल नहीं हुई है, उपेन्द्र कुशवाहा फैसला लेने को मजबूर हो गए हैं.

सिटी पोस्ट लाइव के सूत्रों के अनुसार उपेन्द्र कुशवाहा की पार्टी के नेता नागमणि दिल्ली में कैम्प किये हुए हैं. वो शरद यादव के जरिये राहुल गांधी से उपेन्द्र कुशवाहा की मीटिंग के लिए समय लेने में जुटे हुए हैं. उम्मीद है कि आजकल में उन्हें राहुल गांधी से समय मिल जाएगा. सूत्रों के हवाले से ये खबर भी आ रही है संसद के शीतकालीन सत्र से पहले केंद्रीय मंत्री और राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (आरएलएसपी) अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा मंत्री पद से इस्तीफा दे सकते हैं. सूत्रों के अनुसार मंत्री पद पर इस्तीफा देने से पहले कुशवाहा 6 दिसंबर को मोतिहारी में एनडीए छोड़ने का ऐलान करेंगे. संसद का शीतकालीन सत्र 11 दिसंबर से शुरू हो रहा है.लेकिन उनकी पार्टी के एक नेता के अनुसार वो खुद मंत्री पद से इस्तीफा देने की बजाय बर्खास्त होना पसंद करेगें. शरद यादव ने उन्हें इसी तरह की सलाह दी है.गौरतलब है कि डेटलाइन ख़त्म हो जाने के बाद  उपेंद्र कुशवाहा ने शुक्रवार को कहा था कि  “यह दुर्भाग्य की बात है कि एनडीए में मेरी उपेक्षा हो रही है.” आने वाले दिनों में एनडीए के साथ बने रहने के सवाल पर उन्होंने कहा कि इस बात का फैसला पार्टी के कार्यकर्ता लेंगे.

 कुशवाहा ने बिहार में ‘सुशासन’ पर भी सवाल उठा रहे हैं.. राज्य की बिगड़ी कानून-व्यवस्था को लेकर वो लगातार नीतीश कुमार की घेराबंदी कर रहे हैं. अपने पार्टी नेताओं की लगातार हो रही हत्या के लिए उन्होंने सीधे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को दोषी थार दिया है. उन्होंने कहा है कि आखिर नीतीश कुमार कब तक उनके कार्यकर्ताओं की  बलि लेते रहेंगे.

गौरतलब है  कि कुशवाहा ने कोई भी फैसला लेने से पहले पीएम नरेंद्र मोदी से मिलने की इच्छा जताई थी. लेकिन उन्हें इस मुलाकात के लिए समय नहीं दिया गया. इस बीच पीएम मोदी अर्जेंटीना के दौरे पर चले गए. वह दो दिसंबर को वापस लौटेंगे.बताया जा रहा है कि 4 और 5 दिसंबर को वाल्मीकिनगर में होने वाले आरएलएसपी के चिंतन शिविर में एनडीए से अलग होने पर मंथन होगा. इसके बाद छह दिसंबर को मोतिहारी में होने वाले खुले अधिवेशन में वह एनडीए से अलग होने का ऐलान कर सकते हैं.

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