भेदभाव और नफरत करेंगे तो हमारी पहचान को खतरा: प्रणब मुखर्जी

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प्रणब मुखर्जी ने आरएसएस के संस्थापक हेडगेवार को श्रद्धांजलि अर्पित की. संघ प्रमुख मोहन भागवत के साथ उन्होंने हेडगेवार के घर को भी देखा.उन्होंने मोहन भागवत और भैया जी जोशी के साथ बातचीत की. प्रणब करीब चार घंटे तक संघ मुख्यालय में रहे. 

नागपुर। राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ (आरएसएस) के तृतीय वर्ष वर्ग के आयोजन में शामिल होने नागपुर पहुंचे पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने कहा है कि, भारत विविधताओं से भरा देश है. उन्होंने कहा कि सबने इस बात को माना है कि हिंदू एक उदार धर्म है. ह्वेनसांग और फाह्यान ने भी हिंदू धर्म की बात की है. असहिष्णुता से हमारी राष्ट्रीय पहचान धूमिल होती है. कई लोगों ने सैकड़ों सालों तक भारत पर शासन किया, फिर मुस्लिम आक्रमणकारियों ने भारत पर शासन किया. बाद में ईस्ट इंडिया कंपनी आई।मैं यहां देश और देशभक्ति समझाने आया हूं. मैं यहां देश की बात करने आया हूं. राष्ट्रवाद किसी भी देश की पहचना है. देशभक्ति का मतलब देश की प्रगति में आस्था है. भारत के दरवाजे सबके लिए खुले हैं.

मुखर्जी ने कहा कि, 5000 पुरानी हमारी सभ्यता को कोई भी विदेशी आक्रमणकारी और शासक खत्म नहीं कर पाया. अगर हम भेदभाव और नफरत की तरफ जाएंगे तो देश की पहचान खतरे में चली जाएगी, हम वसुधैव कुटुंबकम में यकीन रखने वाले लोग हैं.प्रणब मुखर्जी ने कहा कि नेहरू ने कहा था कि सबका साथ जरूरी है. भारत में हम अपनी ताकत सहिष्णुता से प्राप्त करते हैं और बहुलवाद का सम्मान करते हैं. हम अपनी विविधता का उत्सव मनाते हैं. हमारे राष्ट्र को धर्म, हठधर्मिता या असहिष्णुता के माध्यम से परिभाषित करने का कोई भी प्रयास केवल हमारे अस्तित्व को ही कमजोर करेगा. प्रणब मुखर्जी ने कहा कि, राष्ट्रवाद किसी भाषा, रंग, धर्म, जाति आदि से प्रभावित नहीं होता है.

प्रणब मुखर्जी ने कहा कि, विचारों में समानता के लिए संवाद बेहद जरूरी है. बातचीत से हर समस्या का समाधान मुमकिन है. शांति की ओर आगे बढ़ने से समृद्धि मिलेगी. कौटिल्य ने कहा था कि प्रजा की खुशी में ही राजा की प्रसन्नता निहित रहती है. प्रणब मुखर्जी ने आरएसएस के संस्थापक हेडगेवार को श्रद्धांजलि अर्पित की. संघ प्रमुख मोहन भागवत के साथ उन्होंने हेडगेवार के घर को भी देखा.उन्होंने मोहन भागवत और भैया जी जोशी के साथ बातचीत की. प्रणब करीब चार घंटे तक संघ मुख्यालय में रहे. आरएसएस तृतीय वर्ष वर्ग का आयोजन हर साल नागपुर में किया जाता है. इस साल इस कार्यक्रम में अपने राजनीतिक जीवन में कांग्रेसी रहे प्रणब मुखर्जी को बुलाये जाने को लेकर सबकी नजर टिकी हुई थी .

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