सिटीपोस्टलाईव : उत्तर-प्रदेश पुलिस की शान बिहार के लाल, आईपीएस अधिकारी राजेश सहनी के आत्म-हत्या की खबर से पटना के लोग स्तब्ध हैं. उन्हें जाननेवाले हर घर में मातम का माहौल है. यूपी पुलिस के एटीएस में अडिशनल एसपी के पद पर तैनात राजेश सहनी बिहार के ही रहनेवाले हैं. उनका परिवार पटना के पटेल नगर रहता है. मंगलवार को जैसे ही उनके द्वारा गोली मारकर आत्म-हत्या की खबर पुरे मोहल्ले के लोग स्तब्ध रह गए. विशेष जानकारी के लिए राजेश के बूढ़े माता पिता के घर पहुँचने लगे. लेकिन 80 साल के उनके वयोवृद्ध पिता प्रेम सागर साहनी और बीमार माता को तो पता ही नहीं था कि उनके लाल के साथ क्या हुआ है.
85 की उम्र में अपने बेटे को खो देनेवाले प्रेम सागर सहनी की आँखें पथरा गई हैं.वो स्तब्ध हैं.माता का रोते रोते बुरा हाल है.मंगलवार को हवाई जहाज में जब जगह नहीं मिल सकी तो पटना एटीएस के अधिकारियों के उनको लखनऊ गाडी से भेंजने की व्यवस्था की. उनके रिश्तेदार उन्हें किसी तरह से संभालते हुए लखनऊ के लिए लेकर निकले.प्रेम सागर ने बताया कि उनके दामाद हवाई जहाज से लखनऊ के लिए निकल चुके हैं. राजेश सहनी के दोस्त पत्रकार अमरनाथ तिवारी के अनुसार जितने कड़क पुलिस अधिकारी राजेश थे,उतने ही हसोड़ और मजाकिया स्वभाव के थे. उनके द्वारा आत्म-हत्या किये जाने से अमरनाथ तिवारी भी स्तब्ध हैं. उन्हें तो विश्वास ही नहीं हो रहा कि इतना बहादूर पुलिस अधिकारी ने आत्म-हत्या कर ली है.राजेश साहनी 1992 में पीपीएस सेवा में चुने गए थे और वे वर्ष 2013 में अपर पुलिस अधीक्षक बने थे. उनकी पढ़ाई पटना में ही हुई थी. उन्होंने अपनी स्कूलिंग सेंट जेवियर्स से की थी, जबकि पटना कॉलेज से उन्होंने एमए किया था. उन्होंने पॉलिटिकल साइंस से एमए किया था. हालांकि घर के लोग अब तक नहीं समझ पा रहे हैं कि आईपीएस राजेश साहनी ने ऐसा कदम क्यों उठाया. आईपीएस राजेश साहनी की एक बेटी है. मंगलवार को ही वह दिल्ली से महाराष्ट्र जानेवाली थी. लेकिन अचानक हुई इस घटना ने उसे पूरी तरह तोड़ दिया. बेटी श्रेया व पत्नी शालिनी साहनी का भी रो-रोकर बुरा हाल है.
गौरतलब है कि मंगलवार की दोपहर में राजेश साहनी ने अपने गनर मनोज से पिस्टल मंगाई और उसके बाद कमरे का दरवाजा अंदर से बंद कर खुद को गोली मर ली.उन्होंने खुदकुशी का फैसला क्यों लिया, इसको लेकर अभी तक कोई सुराग नहीं मिल पाया है. मौके से कोई सुसाइड नोट भी बरामद नहीं हुआ है. गोमती नगर स्थित एटीएस मुख्यालय में दोपहर लगभग एक बजे के करीब गोली की आवाज सुनी गई थी. इसके बाद वहां भगदड़ जैसी स्थिति हो गई. गोली की आवाज सुन कुछ अधिकारी वहां पर पहुंचे तो सब स्तब्ध रह गये. आईपीएस राजेश का शव खून से लथपथ पड़ा था. सुसाइड की इस घटना से यूपी एटीएस के अलावा पुलिस विभाग के अधिकारी भी सकते में हैं. संबंधित अधिकारी मामले की छानबीन में जुट गये हैं.
गौरतलब है कि इस्लामिक स्टेट (ISIS) खुरासान मॉड्यूल का का खुलासा करनेवाले राजेश साहनी का नाम यूपी पुलिस के बेहद तेजतर्रार अफसरों में शामिल था. इतना ही नहीं, पिछले सप्ताह ही उत्तराखंड के पिथौरागढ़ से पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के एजेंट रमेश सिंह को गिरफ्तार करने में भी उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी. इसके अलावा वे बिहार में हुए गया बम ब्लास्ट और पटना बम ब्लास्ट मामले की एनआईए की जांच टीम में भी शामिल थे.