सिटी पोस्ट लाइव, रांची: देश के प्रतिष्ठित संवाद समिति प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया, पीटीआई के रांची ब्यूरो चीफ पीवी रामानुजम ने गुरुवार को अपने आवास सह कार्यालय में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस अधिकारी ने बताया कि लालपुर थाना क्षेत्र स्थित आवास सह कार्यालय में रहने वाले पीवी रामानुजम ने देर रात फांसी का फंदा लगाकर खुदकुशी कर ली। गुरुवार की सुबह सूचना मिलने पर पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। बताया गया है कि उनका कोरोना टेस्ट भी कराया जाएगा, उसके बाद शव को परिजनों को सौंपा जाएगा। किन कारणों से पत्रकार ने आत्महत्या की है अभी खुलासा नहीं हुआ है। पुलिस मृतक की पत्नी का बयान लेगी। मृतक के इकलौते पुत्र घटना की सूचना मिलने पर ओड़िशा से रांची आ रहे है। पीटीआई के पत्रकार पीवी रामानुजम करीब दो दशक से रांची में कार्यरत थे और वे रांची के राजभवन के निकट स्थित सरकारी र्क्वाटर में अपनी पत्नी के साथ रहते थे, इसी भवन से रांची स्थित पीटीआई का कार्याल य भी संचालित होता था। इस घटना से उन्हें जानने वाले सभी लोग स्तब्ध है और मीडिया जगत में शोक का माहौल है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने निधन पर दुःख व्यक्त करते हुए पीवी रामानुजम का यों चले जाना पत्रकारिता जगत के लिए अपूरणीय क्षति है। उनकी पत्रकारिता से कई पत्रकारों को मार्गदर्शन एवं प्रेरणा मिली है। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें। मेरी संवेदना उनके परिजनों के साथ हैं। भगवान उन्हें दुःख की इस घड़ी को सहन करने की शक्ति दें। केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सह मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दीपक प्रकाश समेत अन्य लोगों ने उनके निधन पर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है।
पीवी रामानुजम का यों चले जाना पत्रकारिता जगत के लिए अपूरणीय क्षति: मुख्यमंत्री
रांची। मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने पीटीआई के ब्यूरो चीफ पीवी रामानुजम के असामयिक निधन पर गहरा दुःख व्यक्त किया है। मुख्यमंत्री ने कहा पीवी रामानुजम का यों चले जाना पत्रकारिता जगत के लिए अपूरणीय क्षति है। उनकी पत्रकारिता से कई पत्रकारों को मार्गदर्शन एवं प्रेरणा मिली है। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें। मेरी संवेदना उनके परिजनों के साथ हैं। भगवान उन्हें दुःख की इस घड़ी को सहन करने की शक्ति दें।
पत्रकारिता जगत को बहुत क्षति हुई: अर्जुन मुंडा
रांची। केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने पीटीआई के ब्यूरो चीफ पीवी रामानुजम के असामयिक निधन पर गहरा दुःख व्यक्त किया है। मुंडा ने कहा पीवी रामानुजम बहुत ही सरल व्यक्ति थे।उनके निधन से पत्रकारिता जगत को बहुत क्षति हुई है। भगवान उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें। मेरी संवेदना उनके परिजनों के साथ हैं।भगवान उन्हें दुःख की इस घड़ी को सहन करने की शक्ति दें।
सुबोधकांत सहाय ने रामानुजम के निधन पर किया शोक व्यक्त
रांची: पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय ने वरिष्ठ पत्रकार व पीटीआई के झारखंड ब्यूरो प्रमुख पीवी रामानुजम के असामयिक निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि पीवी रामानुजम पत्रकारिता के क्षेत्र में काफी सुलझे हुए इंसान थे। वह सरल, सौम्य व मृदुभाषी पत्रकार थे। पत्रकारिता धर्म का बखूबी निर्वहन करते हुए समाज के एक सजग प्रहरी के रूप में वह सदैव सुलभ रहते थे। श्री सहाय ने शोक संदेश में कहा कि अकस्मात उनके निधन की सूचना मिलने पर काफी मर्माहत हैं। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति और उनके परिजनों को संबल प्रदान करें।
रामानुजम की खुदकुशी की खबर स्तब्ध करने वाला: रामेश्वर उरांव
झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव ने पीटीआई के रांची ब्यूरो चीफ पीवी रामानुजम के निधन पर गहरा दुख एवं शोक प्रकट किया है ।उन्होंने कहा है कि रामानुजम से मेरे बेहद करीब और प्रिय संबंध थे, उनकी खुदकुशी के समाचार सुनकर मैं स्तब्ध हूँ। वह निहायत ही शरीफ, शांत चित्त, धीर गंभीर, मृदुभाषी वयक्ति थे। एक पत्रकार के रूप में और एक अच्छे दोस्त को मैंने खो दिया है। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दे और परिजनों को दुख सहने की शक्ति। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता आलोक कुमार दूबे ने कहा कि रामानुजम की आत्महत्या की खबर सुनकर विश्वास नहीं हो रहा है, रामानुजम एक नेक दिल, सरल स्वभाव, विनम्र ,शालीन व्यक्ति थे, पत्रकारिता जगत के लिए अपूर्ण क्षति के साथ-साथ समाज के लिए भी गहरा धक्का है। किन परिस्थितियों में उन्होंने आत्महत्या की है इसकी पूरी जांच होनी चाहिए,ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दें एवं परिजनों को दुख सहने की शक्ति।झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता डॉ राजेश गुप्ता छोटू ने भी रामानुजम के निधन पर गहरा दुख प्रकट किया है, उन्होंने कहा है कि रामानुजन पिछले कई वर्षों से पत्रकारिता के क्षेत्र में काम कर रहे थे उन्होंने अपने व्यवहार से सबका दिल जीतने में कामयाब हुए हैं, उनकी मौत से पत्रकारिता जगत के साथ-साथ हर क्षेत्र में मातम है ,उनकी आत्महत्या की पूरी गंभीरता से जांच होनी चाहिए।