सिटी पोस्ट लाईव : सिटी पोस्ट लाईव की खबर ने अपना असर दिखा दिया है. खगड़िया जज ने अपनी बेटी को घर में बना लिया था बंधक .सिटी पोस्ट लाईव की रिपोर्ट पर संज्ञान लेते हुए पटना हाईकोर्ट ने जज की बेटी के प्यार पर लगे जज बाप के पहरे को हटा दिया है. अब इस बेटी को नहीं मिलेगी प्रेम की सजा .हो गई आजाद.अब जज के घर की बजाय मेहमान बनकर रहेगी सरकारी गेस्ट हाउस में .खगड़िया जज की ओर से अपनी ही बेटी के नजरबंद किये जाने के मामले पर मंगलवार को लगातार दूसरे दिन सुनवाई हुई. पटना हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस राजेंद्र मेनन के चेंबर में खगड़िया जज की बेटी को पुलिस ने पेश किया .चीफ जस्टिस राजेंद्र मेनन ने पीड़िता की पूरी बात सुनी. गौरतलब है कि हाईकोर्ट के निर्देश पर ही लड़की को खगड़िया से पटना लाया गया था . अब इस मामले में अगली सुनवाई 12 जुलाई को होगी. तब तक हाई कोर्ट ने लड़की को पटना के चाणक्या लॉ यूनिवर्सिटी के गेस्ट हाउस में रखने का निर्देश दिया.
गौरतलब है कि कि बेटी के प्रेम संबंध से उसके जज पिता इतने उखड गए कि उन्होंने अपनी बेटी के प्यार पर पहरा बिठा दिया. अपने सरकारी घर को ही जेल बना दिया .बेटी को घर के एक कमरे में बंद कर दिया गया .उसके साथ मारपीट भी हुई .जब इस खबर को सिटी पोस्ट लाईव ने प्राथमिकता के साथ उठाया तो हाईकोर्ट ने संज्ञान लेते हुए बेटी को आजाद कराने का जिम्मा पटना पुलिस को सौंप दिया.दरअसल, खगड़िया जज की यह बेटी पटना के चाणक्या नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी से स्नातक है. उसका सुप्रीम कोर्ट के वकील सिद्धार्थ बंसल से वर्ष 2012 से प्रेम प्रसंग चल रहा है. जब इस बात की खबर लड़की के परिजनों को लगी, तो उन्होंने खगड़िया स्थित आवास पर ही उसे बंधक बना लिया था .
हाई कोर्ट के निर्देश पर उसे छुड़ाकर हाईकोर्ट में पेश किया गया .हाईकोर्ट ने ये भी निर्देश दे दिया था कि अगर लड़की को लाने में कोई अड़चन हो तो उसके उसके अभिभावकों को भी पुलिस साथ लाये. अभिभावक तो नहीं आये, लेकिन लड़की को आजाद कराकर कोर्ट के सामने हाजिर कर दिया गया .पटना हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस राजेंद्र मेनन को पीड़िता ने बताया कि वह सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता जिससे वह प्रेम करती है,शादी करना चाहती है. हाईकोर्ट ने लड़की को पटना के चाणक्या लॉ यूनिवर्सिटी के गेस्ट हाउस में खातिर भाव के साथ रखने का निर्देश दिया. अब इस मामले की अगली सुनवाई 15 जुलाई को होगी.