सिटी पोस्ट लाइव :यूक्रेन में मेडिकल की पढ़ाई करने वाले छात्र वहां युद्ध छिड़ने के बाद से लगातार ‘ऑपरेशन गंगा’ के तहत भारत लौट रहे हैं. शुक्रवार की सुबह से देर शाम तक अलग-अलग फ्लाइट्स से यूक्रेन में फंसे 153 बिहारी छात्र पटना एयरपोर्ट पहुंचे. इसमें अधिकतर ऐसे हैं जो खारकीव में बुरी तरह फंसे हुए थे. छात्रों ने पटना एयरपोर्ट पहुंचने पर बताया कि यूक्रेन में भारत सरकार से किसी भी तरह की सहायता नहीं मिल रही है. किसी तरह हम लोग ग्रुप बनाकर वहां से ट्रेन पकड़ कर हंगरी बॉडर पहुंचे जहां से वो भारत पहुंचे.
शुक्रवार की सुबह से देर शाम तक अलग-अलग फ्लाइट्स से 153 छात्र पटना एयरपोर्ट (Patna Airport) पहुंचे. इसमें अधिकतर छात्र ऐसे हैं जो खारकीव (Kharkiv) में बुरी तरह फंसे हुए थे. सुपौल (Supaul) के शिव कुमार साह और अररिया (Araria) के सुमन कुमार ने पटना एयरपोर्ट पहुंचने पर बताया कि यूक्रेन में भारत सरकार से किसी भी तरह की सहायता नहीं मिल रही है. किसी तरह हम लोग ग्रुप बनाकर वहां से ट्रेन पकड़ कर हंगरी बॉडर (Hungary Border) पहुंचे जहां से वो भारत पहुंचे.
शिव कुमार साह ने बताया कि वापसी में हमें बहुत तकलीफ हुई. ट्रेन में यूक्रेन की मिलिट्री (आर्मी) हमें चढ़ने नहीं दे रही थी. वो अपने लोगों को प्राथमिकता दे रहे थे फिर भी हमलोग किसी तरह से ऊपर चढ़ गए. हमने 72 घंटे का सफर तय किया और हंगरी के बॉर्डर पहुंचे, वहां छह घंटे लाइन में लगे रहना पड़ा फिर ट्रेन में बैठे उसके बाद हंगरी बॉर्डर पार कराया गया. उन्होंने बताया कि खारकीव में धीरे-धीरे हालात खराब होते चले गए. हमें खाने-पीने का सामान खरीद कर रखने को कहा गया था. लेकिन, बहुत जल्द सामान खत्म हो गया और परेशानी बढ़ गई. हंगरी आने के बाद भारतीय दूतावास का सहयोग मिला और किसी तरह से हमलोग अपने देश पहुंचे हैं. आज (शुक्रवार) पटना पहुंचे हैं और हमलोग काफी खुश हैं.
यूक्रेन से आए अररिया के रहने वाले छात्र सुमन कुमार ने कहा कि बॉर्डर पर भी हालात खराब है. भारतीयों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. बॉर्डर को पार करने में ही दो दिन से ज्यादा समय लग गया. 15-16 किलोमीटर पैदल चलकर बॉर्डर के पास हम लोग पहुंचे थे. उसके बाद बॉर्डर पार करने में काफी समय लगता है. बॉर्डर पार करने के बाद कहीं न कहीं भारतीय दूतावास का सहयोग हमें मिला है और उसके कारण ही हम आज घर तक पहुंच पाए हैं. जो छात्र अभी भी वहां फंसे हुए हैं, उन्हें जल्द से जल्द भारत लाया जाए क्योंकि यूक्रेन की स्थिति दिनों दिन खराब होती चली जा रही है.यूक्रेन से सकुशल पटना पहुंचे छात्रों को जिला प्रशासन उनके घर तक पहुंचा रही है.