हिंदपीढ़ी में तैनात सीआरपीएफ के जवान शीघ्र भेजे जाएंगे एकांतवास में
सिटी पोस्ट लाइव, रांची: कोरोना वायरस हॉटस्पॉट जोन हिंदपीढ़ी के लिए तैनात किए गए केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) जवानों की दो कंपनियों को शीघ्र ही एकांतवास में भेज दी जायेंगी। सूत्रों के अनुसार जैसे ही दो कंपनियां हिंदपीढ़ी पहुंचेगी, वैसे ही तैनात जवानों को गुमला और खूंटी भेज दिया जायेगा। दोनों कंपनी गुमला और खूंटी से रांची पहुंची थी। सीआरपीएफ के आईजी राजकुमार ने गुरुवार को बताया कि पूर्व से ही निर्धारित रोस्टर के अनुसार 2 सप्ताह की ड्यूटी के बाद (क्वॉरेंटाइन) एकांतवास किए जाने का आदेश जारी हुआ हैं । वहां तैनात लगभग 200 जवान 2 सप्ताह ड्यूटी कर चुके हैं। जैसे ही सीआरपीएफ की नई कंपनी इलाके में पहुंचेगी तो ड्यूटी में लगे जवान एकांतवास में चले जाएंगे। इधर, एसएसपी अनीश गुप्ता ने बताया कि गुरुवार शाम दो कंपनी सीआरपीएफ के जवान हिंदपीढ़ी पहुंचेंगे। इसके बाद यहां तैनात जवानों को एकांतवास में भेज दिया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि हिंदपीढ़ी की लगातार स्थिति बिगड़ने के दौरान सीआरपीएफ की दो कंपनियां रांची पुलिस को मिली थी। बीते 28 अप्रैल को पूरे हिंदपीढ़ी में सीआरपीएफ के जवानों ने मोर्चा संभाल लिया था। सीआरपीएफ की तैनाती के साथ ही इलाके में लॉक डाउन का सख्ती से पालन हो रहा है। हर दिन जवान फ्लैग मार्च करते हैं। फ्लैग मार्च के दौरान लोगों से लॉक डाउन का पालन करने और अपने अपने घरों में रहने का आग्रह भी करते हैं। कोरोना वायरस के मद्देनजर सीआरपीएफ जवानों को ड्यूटी के लिए खुद के बचाव के साथ ड्यूटी करने का निर्देश दिया गया है। जवानों को हिदायत दी गई है कि शारीरिक दूरी मेंटेन करते हुए ड्यूटी करेंगे।
मालूम हो कि रांची पुलिस ने पुलिस मुख्यालय को पत्र भेजकर सीआरपीएफ जवान की मांग की थी। रांची के एसएसपी अनीश गुप्ता ने बीते 14 अप्रैल को पुलिस मुख्यालय को पत्र भेजकर हिंदपीढ़ी में प्रतिनियुक्ति के लिए जवान मांगे थे। जब 13 अप्रैल को तीन कोरोना पोजेटिव मरीज को लेने गई पुलिस और मेडिकल की टीम पर हमला हुआ था। इस दौरान वहां जमकर हंगामा किया गया था। पुलिस और मेडिकल टीम पर पथराव किए गए थे। एंबुलेंस को क्षतिग्रस्त कर दिया गया था। मामले को लेकर छह नामजद और 300 अज्ञात लोगों के खिलाफ हिंदपीढ़ी थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई थी। इस मामले में पुलिस ने कई लोगों को गिरफ्तार कर जेल भी भेजा है। उसी दिन बैरिकेडिंग लगाने को लेकर दो समुदाय के लोग भी आपस में भिड़ गए थे। इसी के मद्देनजर इलाके में सीआरपीएफ के जवान की तैनाती की गई थी।