तेजस्वी यादव ने कर दी है सरकार से कोरोना जांच को लेकर बड़ी मांग

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सिटी पोस्ट लाइव : बिहार में कोरोना अनियंत्रित होता जा रहा है. जो स्वस्थ हैं, उन्हें भी कोरोना का डर सता रहा है. जैसे ही किसी को सामान्य सर्दी खांसी और बुखार भी होता है तो उसकी सांस डर से अटकने लगती है. बिहार में कोरोना के संक्रमण का जायजा लेने के लिए दिल्ली से 3 सदस्यीय टीम आ रही है. आरजेडी नेता तेजस्वी  यादव ने इस बीच कहा है कि बिहार में 13 फीसदी पॉजिटिव रेट है. तेजस्वी ने बिहार कोरोना की धीमी जांच पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि बिहार को बचाना है तो प्रति 1 लाख जांच होना चाहिए.

कोरोना के संक्रमण पर नीतीश कुमार की घेराबंदी करते हुए तेजस्वी यादव ने कहा कि नीतीश सरकार के काम से लोगों में निराशा है. बिहार में लॉक डाउन का सही इस्तेमाल नहीं हो रहा है. पूरे देश में बिहार का टेस्टिंग रेट सबसे कम है. कोरोना मरीजों को ऑक्सीजन मास्क तक उनके परिजनों ही लगाना पड़ रहा है.डॉक्टर मरीज के पास जाने को तैयार नहीं हैं. हमारी मांग है कि अगस्त महीने से बिहार सरकार 1 लाख टेस्ट प्रति दिन करे. बिहार अब ग्लोबल कैपिटल ऑफ कोरोना बनने की राह पर है. सरकार सही आंकड़ा लोगों के सामने नहीं रख रही है.

बिहार में कोरोना के आंकड़ों पर तेजस्वी यादव ने सवाल उठाया है. तेजस्वी ने कहा है कि बिहार सरकार सही आंकड़ा लोगों के सामने नहीं रख रही है. बिहार स्वास्थ्य विभाग के पुराने प्रधान सचिव को इसलिए हटा दिया गया क्योंकि उन्होंने पारदर्शिता से काम किया था. नीतीश कुमार की विफलता के कारण ही सेंट्रल टीम को बिहार भेज जा रहा है. हम धन्यवाद देते हैं कि टीम आ रही है और यहां के हालात को देखेगी भी. बिहार के हॉस्पिटल में कोरोना मरीजों का एडमिशन नहीं हो रहा है और जो मरीज भर्ती भी हो रहे हैं, तो उनको देखने वाला कोई नहीं.बिहार में डॉक्टर ठेले पर जाते हैं. पीएमसीएच में रेप हो जा रहा है. एम्स में अपर सचिव की ईलाज के अभाव मौत हो जाती है. भागलपुर अस्पताल में वेंटिलेटर की वजह से एक महिला की जान चली गई. कोरोना मरीज के परिजन वीडियो बनाकर भेज रहे हैं. जो डॉक्टर मारे गए हैं उन्हें शहीद का दर्जा दिया जाए, साथ ही 1 करोड़ रुपया मुआवजा दिया जाए.

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