सिटी पोस्ट लाइव, लखनऊ: राजधानी लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन की तर्ज पर यहां के अन्य छोटे स्टेशनों पर पुराने स्टीम इंजनों से खूबसूरती बढ़ाने की योजना तैयार हो गई है। लखनऊ मंडल के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को बताया कि रेलवे बोर्ड ने हेरिटेज प्रोजेक्ट के तहत स्टेशनों की सुंदरता बढ़ाने में अंग्रेजों के समय के पुराने स्टीम इंजनों को इस्तेमाल करने की अनुमति दे दी है। अब चारबाग रेलवे स्टेशन की तर्ज पर राजधानी के अन्य छोटे स्टेशनों पर स्टीम इंजनों से खूबसूरती बढ़ाने की योजना तैयार कर ली गई है। लखनऊ के आलमबाग स्थित कैरिज एंड वैगन वर्कशॉप और लोको वर्कशॉप में स्टीम इंजनों के अतिरिक्त पुराने समय में इस्तेमाल होने वाली क्रेन, टर्न टेबल और लकड़ी की बनी हुई बोगियां रखी हुई है। इनका इस्तेमाल अब हेरिटेज प्रोजेक्ट के तहत हो सकेगा।
उन्होंने बताया कि चारबाग रेलवे स्टेशन के सर्कुलेटिंग एरिया में एक स्टीम इंजन को खूबसूरती बढ़ाने के लिए रखा गया है। जिससे यहां की खूबसूरती में चार चांद लग गए हैं। वहीं पूर्वोत्तर रेलवे के लखनऊ मंडल के हजरतगंज डीआरएम कार्यालय में भी एक स्टीम इंजन को रखा गया है। इससे लोगों को रेलवे के इतिहास से रूबरू कराया जा रहा है। दरअसल रेलवे के पास पुराने स्टीम इंजनों की भरमार है जो अब चलन से बाहर हो चुके हैं। पुराने स्टीम इंजनों की जगह अब डीजल और बिजली के इंजनों ने ले ली है। इसलिए रेलवे ने अंग्रेजों के जमाने की पुराने स्टीम इंजनों को स्टेशनों की खूबसूरती बढ़ाने में इस्तेमाल करने की योजना बनाई है।
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