जन संपर्क यात्रा में निकले आरसीपी सिंह ने नीतीश कुमार पर जमकर हमला बोला.
Nitish Vs RCP Singh
सिटी पोस्ट लाइव : नीतीश कुमार दिल्ली में RCP सिंह को लेकर पूछे गए सवाल को लेकर जैसे भड़के थे ठीक उसी तरह से RCP सिंह भी नीतीश के बारे में सवाल पूछे जाने पर आपसे से बाहर हो गये.गौरतलब है कि RCP सिंह के बारे में सवाल सुनते ही नीतीश ने हमला बोलते हुए कहा था कि उसका नाम क्या ले रहे हैं. आप लोगों को पता है कि उनको बनाया कौन, राजनीति में लाया कौन. वह तो IAS था, कौन बनाया था उसको अपना प्राइवेट सेक्रेट्री, हम कहां से कहां बनाए छोड़िए उसकी बात.
पटना में जब आरसीपी सिंह से नीतीश कुमार को लेकर पूछा गया तो वो भड़क गए.आरसीपी ने नीतीश कुमार को जबाब देते हुए कहा कि नीतीश कुमार मेरी हैसियत की बात करते हैं, मैं बता दूं कि 1982 में जिस वक्त वह सड़क की खाक छान रहा थे. उस समय मैं गांव में बैठकर यूपीएससी की परीक्षा पास कर चुका था. उन्होंने कभी ऐसी परीक्षा नहीं दी होगी. इंजीनियरिंग करने के बाद एक बार नेवी की परीक्षा दी थी, लेकिन उसमें भी वह फेल हो गए थे.
आरसीपी सिंह ने कहा कि नीतीश कुमार ने एक बार नहीं तीन बार बिहार की जनता के साथ गद्दारी की है. उन्हें धोखा दिया है. वह बात करते हैं कि मैंने उनके और जदयू के साथ गद्दारी की है. असली गद्दार कौन है, यह प्रदेश की जनता अच्छे से जानती है. बात करते है औकात की. प्रधानमंत्री का सपना देख रहे हैं, लेकिन कैसे बनेंगे. पांच- छह सांसदों से प्रधानमंत्री बनने का सिर्फ सपना देखने से क्या होता है. अपनी पार्टी सम्भालें. जेडीयू के कई नेता हमारे संपर्क में हैं. ये दावा और हमला किया है आरसीपी सिंह ने.
आरसीपी ने कहा कि उन्होंने मुझे नेता बनाया है, लेकिन वह पैदाइशी नेता नहीं बने थे. वह बताएं कि 1977 में उनकी क्या हैसियत थी. 1980 में चुनाव हार गए थे. वह कहते हैं कि वह जननेता हैं. लेकिन जनता ने उन्हें नकार दिया है. RCP सिंह ने इस दौरान नीतीश कुमार पर गद्दार होने का भी आरोप लगा दिया.आरसीपी सिंह ने कहा कि नीतीश कुमार ने एक बार नहीं तीन बार बिहार की जनता के साथ गद्दारी की है. उन्हें धोखा दिया है. वह बात करते हैं कि मैंने उनके और जदयू के साथ गद्दारी की है. असली गद्दार कौन है, यह प्रदेश की जनता अच्छे से जानती है.
आरसीपी सिंह ने कहा कि आज वे भले ही जदयू में नहीं हूं. लेकिन प्रखंड स्तर पर अब भी बड़ी संख्या में कार्यकर्ता मेरे साथ खड़े हैं. उन्हें पता है कि उनके साथ कौन खड़ा है. उनसभी से संपर्क करने की कोशिश में लगा हूं. आरसीपी सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री बनने के लिए सबसे जरुरी है संख्या बल. आपके पास सांसद कितने हैं, यह भी निर्भर करता है. अभी वह जिस पार्टी के साथ हैं, अगर उनके साथ चुनाव लड़ने जाते हैं, तो बिहार की 40 सीटों में से उनके हिस्से में कितनी सीटें आएंगी. 10-11 सीटें मिलेंगी, उनमें कितनी सीटें आएंगी, यह वक्त बताएगा. लेकिन कुछ सांसदों वाली पार्टी के नेता को कोई कैसे अपना प्रधानमंत्री चुन सकता है.