बिहार सावधान! केरल के बाद यहाँ भी पहुँच सकता है NiPah वायरस,एडवाइजरी जारी

City Post Live

अभीतक NiPah वायरस से जुड़ी कोई वैक्सीन नहीं है उपलब्ध,इस बीमारी में मौत की 70 प्रतिशत है दर .

सिटीपोस्टलाईव: बिहार के लोग सावधान !अब केरल में बड़े पैमाने पर तबाही मचाने के बाद बिहार सरकार ने राज्य में निफाह अलर्ट जारी कर दिया है.केरल के कोझीकोड में खतरनाक निपाह वायरस की चपेट में आकर अबतक डेढ़ दर्जान से ज्यादा लोग जान गवां चुके हैं.कहीं बिहार इस वायरस की चपेट में न आ जाए ,स्वास्थ्य विभाग ने एहतियात के तौर पर निफाह वायरस अलर्ट जारी करने के साथ साथ एडवाइजरी भी जारी किया है.

निपाह वायरस क्या है?

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ) के अनुसार, निपाह वायरस चमगादड़ से फलों में और फलों से इंसानों और जानवरों में फैलता है.1998 में पहली बार मलेशिया के कांपुंग सुंगई निपाह में इसके मामले सामने आए थे. इस जगह के कारण ही इसे निपाह वायरस नाम दिया गया. पहले इसका असर सुअरों में देखा गया था. फिर 2004 में यह वायरस बांग्लादेश में फैला.अब भारत में यह केरल में पहली बार सामने आया है.इस वायरस से प्रभावित लोगों को सांस लेने की दिक्कत होती है फिर दिमाग में जलन महसूस होती है. वक्त पर इलाज नहीं मिलने पर मौत हो जाती है.

अगर एकबार कोई निफाह की चपेट में आ गया तो उसका बचना मुश्किल है.अभीतक अब तक इस वायरस से जुड़ी कोई वैक्सीन उपलब्ध नहीं है.इस वायरस से बचने के लिए फलों, खासकर खजूर खाने से बचना चाहिए.- पेड़ से गिरे फलों को नहीं खाना चाहिए. बीमार सुअर, चमरगादड़ और दूसरे जानवरों से दूरी बनाए रखनी चाहिए.इस वायरस से हुई बीमारी में मौत की दर 70 प्रतिशत है. राज्य सरकार द्वारा जारी एडवायजरी में  लोगों को केरल से आने वाले फलों को अच्छी तरह से धोकर कर खाने को कहा गया है.भीड़- भाड़ वाले इलाके में जाने से परहेज और चेहरे पर मास्क लगाकर सफर करने को कहा गया है. स्वास्थ्य सेवा के निदेशक प्रमुख डॉ आरडी रंजन ने सभी सिविल सर्जन को निपाह वायरस से बचाव के लिए प्रचार- प्रसार करने को कहा है.

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