City Post Live
NEWS 24x7

5000 के निवेश से भी बन सकते हैं करोडपति

-sponsored-

-sponsored-

- Sponsored -

नीरज कुमार , चार्टेडअकाउंटेंट .

सिटीपोस्टलाईव :   भला कौन नहीं चाहता करोडपति बनना .सब चाहते हैं लेकिन बन वहीँ पाते हैं जो समय से ,नियमितरुप से सही जगहों पर निवेश करते हैं.दरअसल में बैंक लोन तो भले सस्ते न हों लेकिन आपके पैसे पर मिलने वाला बैंक ब्याज रोज कम जरुर हो रहा है.सवाल उठता है फिर कहाँ कितना निवेश कर कोई भी करोडपति बन सकता है. वितीय  मामलों के विशेषज्ञों के अनुसार म्यूचुअल इक्विटी फंड में  20 साल तक सिर्फ 5,000 रुपये मासिक का निवेश करके भी कोई बन सकता है करोडपति .जी हाँ अगर अपने इतने रुपये बीस साल तक लगातार जमा किया तो केवल एक करोड़ नहीं बल्कि आपको मिलेगें लगभग  2.38 करोड़ रुपये. देश में कुछ म्यूचुअल इक्विटी फंड ऐसे हैं, जिन्होंने पिछले 20 साल के दौरान बिल्कुल इसी तरह का रिटर्न अपने ग्राहकों को दिया है…

वित्तीय सलाहकारों के अनुसार, इन म्यूचुअल इक्विटी फंडों में सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (सिप – SIP) के ज़रिये लम्बे समय तक निवेश करते रहने से  अच्छी कमाई हो सकती है. मौजूदा माहौल में, जब बैंकों में सभी तरह की ब्याज़ दरें, यानी बचत खाता (सेविंग्स एकाउंट), सावधि जमा खाता (एफडी), आवर्ती जमा खाता (आरडी) पर मिलने वाले ब्याज की दरें लगातार कम होती जा रही हैं, सिप (SIP) के ज़रिये डाइवर्सिफाइड इक्विटी फंड में निवेश बेहतरीन विकल्प साबित हो सकता है.

आपकी कमाई 2.38 करोड़ रुपये तक हो सकती है. ऐसे पांच म्यूचुअल इक्विटी फंडों के बारे में जानकारी यहां पर दी जा रही है. इन फंड ने पिछले 20 या उससे भी ज़्यादा सालों में लगातार 20 फीसदी से ज़्यादा सीएजीआर (कम्पाउंड एनुअल ग्रोथ रेट या चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर) रिटर्न दिया है.

दिसंबर, 1993 में शुरू होने के बाद से अब तक ‘फ्रैंकलिन इंडिया प्राइमा फंड’ का सीएजीआर 21.02 फीसदी रहा है, और अप्रैल 1998 से अब तक तो यह रिटर्न 25.11 फीसदी रहा, यानी अगर आपने इस म्यूचुअल फंड में 1 अप्रैल, 1998 को 5,000 रुपये माहवार के हिसाब से निवेश किया होता, तो 1 अप्रैल, 2017 को आपके खाते में 2.38 करोड़ रुपये जमा होते हैं. 2018 में यह और बढ़ गया होगा.
पिछले 20 साल के दौरान रिटर्न के हिसाब से दूसरे नंबर पर है ‘रिलायंस ग्रोथ फंड’. अगर आपने 1 अप्रैल, 1998 को इस फंड में 5,000 रुपये मासिक का निवेश करना शुरू किया होता, तो 1 अप्रैल, 2017 को 2.12 करोड़ रुपये का रिटर्न आपको मिल चुका होता, यानी निवेश की गई मूल राशि का 17.66 गुना.

तीसरे नंबर पर है ‘एचडीएफसी इक्विटी फंड’, पिछले 20 साल में जिसका सीएजीआर 23.56 प्रतिशत रहा है. यानी अगर आपने 1 अप्रैल, 1998 से इस फंड में सिप के ज़रिये 5,000 रुपये माहवार का निवेश करना शुरू किया होता, तो 1 अप्रैल, 2017 को आपके खाते में 1.95 करोड़ रुपये पड़े होते.

इसके बाद आता है ‘रिलायंस विज़न फंड’, जिसका सीएजीआर रिटर्न पिछले 20 वर्ष के दौरान 19.92 फीसदी रहा है… इस म्यूचुअल इक्विटी फंड में अगर आप 20 साल पहले 5,000 रुपये प्रतिमाह के हिसाब से निवेश करना शुरू करते, तो इसी महीने की पहली तारीख को आपके खाते में 1.46 करोड़ रुपये जमा होते.
देश में रिटर्न के मामले में पांचवें नंबर पर है ‘एचडीएफसी टॉप 200 फंड’, जिसका सीएजीआर रिटर्न शुरुआत से अब तक 20.88 फीसदी रहा है, और अगर इस फंड में ठीक 20 साल पहले आपने 5,000 रुपये मासिक का निवेश करना शुरू किया होता, तो आज आपका फंड 1.43 करोड़ रुपये का होता.

अभी तक इस निवेश  पर कोई टैक्स नहीं था. लेकिन इस बार बजट में  वित् मंत्री ने  इस पर टैक्स लगा दिया है. वित्तवर्ष 2018-19 के आम बजट में केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स की जद में म्यूचुवल फंड भी ला दिए, और अब इनकम टैक्स कटौती के बाद हाथ आने वाली अपनी तनख्वाह में से टैक्स-फ्री निवेश के विकल्प और भी घट गए हैं.

-sponsored-

- Sponsored -

Subscribe to our newsletter
Sign up here to get the latest news, updates and special offers delivered directly to your inbox.
You can unsubscribe at any time

-sponsored-

Comments are closed.