मोकामा में BJP ने 1995 के बाद नहीं उतारा उम्मीदवार.

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सिटी पोस्ट लाइव : बिहार की दो विधान सभा सीटों के लिए उपचुनाव का बिगुल बज गया है. निर्वाचन आयोग ने प्रदेश की दो सीटों मोकामा और गोपालगंज विधानसभा सीट आगामी 3 नवंबर को चुनाव कराने का ऐलान किया है. मोकामा की सीट पर राजद के बाहुबली नेता अनंत सिंह (Anant Singh) ने जीत दर्ज की थी. लेकिन सजा का एलान होने के बाद उनकी विधानसभा सदस्यता रद्द हो गयी. इस सीट पर अब अनंत सिंह की पत्नी नीलम देबी चुनाव लड़ेगी.

इस सीट से अनंत सिंह 2005 से लगातार चुनाव जीतते आ रहे हैं.वो बाहर  रहे या फिर जेल में हमेशा उनको ही जीत मिली है.JDU के टिकेट हो या RJD का हमेशा उनकी जीत हुई है.एकबार फिर से मोकामा विधानसभा सीट पर उपचुनाव हो रहा है. लेकिन बिहार में अब जब सियासी समीकरण बदल गये हैं. जदयू, राजद और कांग्रेस एकसाथ चुनावी मैदान में है. जबकि भाजपा अब अकेले दम पर ही चुनाव लड़ेगी. मोकामा की राह भाजपा के लिए आसान नहीं है. यहां की सियासी गलियों में बाहुलबी अनंत सिंह का ही सिक्का चलता है.

मोकामा में बाहुबली अनंत सिंह को छोटे सरकार के नाम से लोग जानते हैं. अनंत सिंह ने यहां जिस दल का दामन थामा, उसने जीत हासिल की. जब अनंत सिंह निर्दलीय चुनावी मैदान में उतरे तब भी उनको हराना मुश्किल रहा. लगभग सभी दलों के उम्मीदवारों को उन्होंने पटखनी दी है. हालाकि भाजपा के लिए इस बार उम्मीदवार का चयन करना सबसे बड़ा टास्क होगा. महागठबंधन ने अभी अपने उम्मीदवार तय नहीं किये हैं लेकिन कौन उम्मीदवार यहां महागठबंधन प्रत्याशी को मात देगा, ये चयन करना भाजपा के लिए चैलेंज होगा.

भाजपा ने मोकामा में 1995 के बाद अपना उम्मीदवार नहीं उतारा है. भाजपा ने गठबंधन में रहे अपने सहयोगी दल को ही ये सीट सौंपा है. कभी जदयू ने यहां अपना उम्मीदवार उतारा तो कभी लोजपा के खाते में ये सीट गयी. लेकिन इसबार अब भाजपा यहां से उम्मीदवार देने की तैयारी में है.जेडीयू से अलग होकर 2015 में भी भाजपा ने चुनाव लड़ा था और इस सीट पर लोक जनशक्ति पार्टी के उम्मीदवार को उतारा. लेकिन अनंत सिंह यहां निर्दलीय ही जीत गये. तब जदयू और राजद एकसाथ थी. वहीं 2020 में अनंत सिंह राजद के टिकट पर लड़े और जदयू उम्मीदवार को हराया था.लेकिन इसबार बीजेपी दुसरे बाहुबली सूरजभान सिंह की पत्नी को यहाँ से उम्मीदवार बनाकर लड़ाई को दिलचस्प बना सकती है.

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