बिहार-झारखंड के कई इलाकों में भूकंप के झटके,लोगों में मची अफरा-तफरी

City Post Live - Desk

बिहार-झारखंड के कई इलाकों में भूकंप के झटके,लोगों में मची अफरा-तफरी

सिटी पोस्ट लाइव- रविवार की सुबह बिहार एवं झारखंड में भूकंप के झटके महसूस किये गए. भूकम्प के झटके बिहार के भागलपुर,बांका व मधेपुरा सहित कई इलाकों में सुबह 10.42 बजे महसूस किये गएँ. परन्तु इसके कुछ ही पल पहले झारखंड की राजधानी रांची, गिरिडीह, धनबाद, बगोदर और दुमका आदि जिलों में झटके महसूस किये गए. भूकंप के झटकों के कारण लोग दहशत के कारण घरों के बाहर निकल गए. भूकंप का केंद्र नेपाल में था. हालांकि, किसी तरह की जानमाल की क्षति की सूचना नहीं है.

इसके पहले निकोबार द्वीप समूह में सुबह 7:49 बजे 4.5 तीव्रता का भूकंप आया.शनिवार को भी नेपाल के रामेछाप में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे.राष्ट्रीय भूकंप मापक केंद्र के मुताबिक, शनिवार की दोपहर नेपाल में आए 4.9 तीव्रता के भूकंप का केंद्र बिंदु जिले के गुमदेल में था.चार वर्ष पूर्व भी नेपाल में आए भयंकर भूकंप का केंद्र भी गुमदेल ही था.इससे लोगों में दहशत हैं.
लेकिन सबसे बड़ा प्रश्न यह है कि आखिर ये भूकंप आता क्यों है? इसका कारण यह है कि पृथ्‍वी की ऊपरी सतह सात टेक्टोनिक प्लेटों से मिल कर बनी है.जब ये प्लेटें एक-दूसरे से टकराती हैं, तो भूकंप का खतरा पैदा होता है और जब ये प्लेटें एक-दूसरे में घुसने की कोशिश करती हैं तो इससे उत्‍पन्‍न तनाव भूकंप का कारण बनता है..

लेकिन भूकंप के दौरान अगर हम कुछ सावधानियां बरतें तो आसानी से बचाव कर सकते हैं . जैसे
– भूकंप आने पर घर से निकलकर खुली जगह पर जाएं.घर के बाहर कभी भी बिजली या टेलीफोन के खंभे या पेड़-पौधों के नीचे नहीं जाएं.
– अगर आप संकरी गली में हों यर दोनों ओर बहुमंजिली इमारतों से घिरे हों तो बाहर निकलने से फायदा नहीं होगा.ऐसी स्थितिमें घर में ही सुरक्ष‍ित स्‍थान पर रहें.
– भूकंप के दौरान अगर घर से बाहर निकलने में काफी वक्त लगने का अनुमान हो तो बाहर नहीं निकलें.घर में ही किसी कोने में या किसी मजबूत फर्नीचर के नीचे छिपें.सिर के साथ-साथ शरीर के संवेदनशील अंगों को बचाने पर ध्‍यान दें.
– भूकंप के झटके महसूस होते ही टीवी, फ्रिज, एसी व कूलर आदि बिजली के उपकरण बंद कर दें या प्लग से निकाल दें.
– भूकंप के दौरान अफवाहों पर ध्यान न दें.धैर्य व मानसिक संतुलन बनाकर रखें.
इस प्रकार से हम कुछ सावधानियों को ध्यान में रखकर भूकंप से होनेवाले झटके से बच सकते हैं.
                                                                                                                                                               जे.पी.चंद्रा की रिपोर्ट

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