सभी विधायकों को चाहिए अपनी जाति का ऑफिसर, सिफारिशों से परेशान हैं मंत्री.

City Post Live

सिटी पोस्ट लाइव : अभी बिहार में अधिकारियों के तबादले का दौर चल रहा है.रोज तबादले हो रहे हैं.अपने मन–पसंद अधिकारियों को अपने क्षेत्र में ले जाने के लिए विधायक-मंत्री सरकार से सिफारिश कर रहे हैं.लेकिन सबसे खास बात ये है कि अधिकारियों का चयन नेता योग्यता के आधार पर नहीं बल्कि जाति के आधार पर कर रहे हैं.बिहार के ज्यादातर विधायक इन दिनों सचिवालय के चक्कर काट दिखाई दे रहे हैं. विधायक अपने चहेते अफसरों की पोस्टिंग अपने क्षेत्र में करवाने के लिए सिफारिश लेकर मंत्रियों के पास जा रहे हैं. उनके फेवरेट अफसर होने का मतलब है, उनकी जाति वाला अफसर. पैरवी करने वालों के पहुंचने का आलम यह है कि इससे परेशान ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार को सचिवालय छोड़ क्षेत्र के लिए निकल जाना पड़ा.

दरअसल, बिहार में जून महीने में ही प्रखंड विकास पदाधिकारियों (BDO) की ट्रांसफर-पोस्टिंग बड़े पैमाने पर की जाती है. इसमें विभागीय मंत्री का फैसला अंतिम होता है. यही वजह है कि विधायक खुद सचिवालय पहुंचकर ग्रामीण विकास मंत्री से मिलने की लगातार कोशिश कर रहे हैं.पैरवी और आवेदनों के पहुंचने का ये आलम है कि इससे परेशान विभागीय मंत्री दफ्तर में नहीं बैठ रहे.पटना भी छोड़ चुके हैं.मंत्री इन दिनों अपना पूरा दिन नालंदा में बिता रहे हैं, जहां से वो देर शाम पटना लौटते हैं. सिफारिश भरे पत्रों का सिलसिला कम नहीं हुआ है.

प्रखंड स्तर की सभी विकास योजनाएं बीडीओ के नियंत्रण में संचालित होती हैं. पंचायती राज संस्थाएं भी उनसे निर्देशित होती हैं. अगर पसंद का बीडीओ रहे तो वह सरकारी धन के जरिए उन लोगों को उपकृत करता है, जो विधायक की मदद करते हैं. विकास योजनाओं से होने वाली आमदनी के बंटवारा में भी परेशानी नहीं होती है.इसलिए विधायकों के लिए BDO का पद बेहद अहम होता है.सरकार भी अधिकारियों के ट्रांसफर-पोस्टिंग में सामाजिक समीकरण का ख्याल रखती है, लेकिन विधायक अपनी जात पर ही ज्यादा भरोसा कर रहे हैं.एक विधायक के क्षेत्र में कई प्रखंड होते हैं और हर प्रखंड में विधायक के स्वजातीय अफसर की पोस्टिंग नया विवाद खड़ा कर सकती है.ऐसा नहीं कि सिफारिश करने वालों में केवल सत्तारूढ़ दल के विधायक हैं, बल्कि विपक्षी दलों के विधायक भी सिफारिश लेकर पहुंच रहे हैं. सिफारिश करने वालों में दूसरे विभाग के मंत्री भी पीछे नहीं. पत्र भेजने वालों में कई मंत्रियों के नाम भी शामिल हैं.बिहार में कुल 534 प्रखंड हैं .माना जा रहा है कि मंगलवार देर शाम या बुधवार सुबह तक इनकी पोस्टिंग की लिस्ट सामने आ सकती है.

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