किसान आंदोलन का रालोसपा ने किया समर्थन, सरकार के खिलाफ उतर सकती है मैदान में

City Post Live - Desk

सिटी पोस्ट लाइव : राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (रालोसपा) देश में चल रहे किसान आंदोलन का समर्थन करता है और केंद्र की भाजपा सरकार के किसान विरोधी रवैये की कड़े शब्दों में निंदा करती है। रालोसपा की दो दिवसीय समीक्षा बैठक में एक प्रस्ताव पास कर रालोसपा ने किसान आंदोलन को अपना समर्थन दिया। पार्टी का मानना है कि केन्द्र सरकार किसानों की वाजिब और जायज मांगों को न सिफ अनदेखी कर रही है बल्कि किसानों पर दमनात्मक कार्रवाई कर रही है.

सरकार किसानों की मांगों पर विचार करे और किसान विरोधी कृषि बिल को तत्काल वापस करे। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि केन्द्र सरकार किसान-मजदूर और गरीब विरोधी है। किसानों के साथ जिस तरह का रवैया सरकार ने अपनाया है उसकी कड़े शब्दों में निंदा करते है। कुशवाहा ने कहा कि केन्द्र सरकार अगर किसानों की मांगों को नहीं मानती है तो रालोसपा इसके खिलाफ सड़क पर उतरेगी।

पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव व प्रवक्ता फजल इमाम मल्लिक ने कहा कि बैठक में शिक्षा सुधार आंदोलन को आगे बढ़ाने का फैसला भी लिया गया रालोसपा लगातार शिक्षा के सवाल संघर्ष करती रही है, पार्टी शिक्षा के सवाल का और मुखरता से उठा कर गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए सरकार पर दबाव बनाएगी। बैठक में आम राय से लोगों ने कहा कि बिहार विधानसभा चुनाव में मिले जनोदश में जीडी.एस.एस

को तीसरे मोर्चे कि मान्यता दि। लोगों ने यह भी कहा कि यह फ्रट बनाने में थोड़ी देर हुई। अगर यह फ्रट पहले बना होता ता इसके नतीजे और बेहतर होती। बैठक में यह फैसला लिया गया कि रालोसपा सभी 104 विधान सभा क्षेत्रों में बैठक कर चुनाव परिणामों की समीक्षा करेगी। इसके लिए 30 दलों का गठन किया जायेगा। विधान सभा क्षेत्रों में समीक्षा कार्यक्रम 15 से 25 दिसबर के बिच होगा ।

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