रिम्सः रेडियोलॉजी विभाग के पीजी डॉक्टर हड़ताल पर गये
रिम्सः रेडियोलॉजी विभाग के पीजी डॉक्टर हड़ताल पर गये
सिटी पोस्ट लाइव, रांची: रिम्स (राजेंद्र इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज) के रेडियोलॉजी विभाग के पीजी डॉक्टर मंगलवार से हड़ताल पर चल गये। पीजी डॉक्टरों ने रिम्स निदेशक को इसकी सूचना दे दी है। पीजी डॉक्टरों का कहना है कि रिम्स का सिटी स्कैन पिछले 5 माह से खराब है। अल्ट्रासाउंड की 2 मशीनें भी खराब हैं। करीब 10 साल पुरानी एमआरआई मशीन भी अक्सर खराब हो जाती है। ऐसे में यहां के मरीजों की जांच प्रभावित होती है। साथ ही मरीजों की नाराजगी झेलनी पड़ती है। हड़ताल पर गये छात्रों ने कहा कि रेडियोलॉजी विभाग में जब जांच ही नहीं होगी तो पीजी डॉक्टर क्या सीखेंगे और क्या पढ़ेंगे। उनलोगों की पढ़ाई बाधित हो रही है। मरीजों को भी परेशानी हाे रही है। रिम्स को भी आर्थिक क्षति हो रही है। पीजी डॉक्टरों ने कहा कि अगर इसके बाद भी मशीनें नहीं खरीदी जाती हैं तो वे लोग भूख हड़ताल करेंगे। रेडियोलॉजी विभाग में हड़ताल होने से सीटी स्कैन, अल्ट्रासाउंड और एमआरआई की जांच व उसकी रिपोर्टिंग प्रभावित रहेगी। मरीजों के पास सिर्फ निजी जांच केंद्रों के भरोसे रहना होगा। रिम्स में भर्ती गंभीर मरीजों को परेशानी उठानी पड़ सकती है। पैथोलॉजी, बायोकेमेस्ट्री और माइक्रोबॉयोलॉजी के विद्यार्थियों का भविष्य भी संकट में रेडियोलॉजी विभाग की तरह रिम्स के पैथोलॉजी, बायोकेमेस्ट्री और माइक्रोबॉयोलॉजी के विद्यार्थियों का भविष्य भी संकट में है। कारण है कि रिम्स में अधिकांश जांच मेडॉल में की जा रही है। ऐसे में इन विभागों में जांच नहीं हो रही। इसलिए, सीखने के लिए जितना सैंपल रिम्स के विद्यार्थियों को मिलना चाहिए, वह नहीं मिल पा रहा है। हालांकि, मेडाॅल को वही जांच करनी थी, जो रिम्स में नहीं होती है। मनचाही कंपनी से खरीद के लिए टेंडर होता है रद्द सिटी स्कैन, एमआरआई मशीनें 10 से 12 पुरानी हो चुकी है। लेकिन, मनचाही कंपनी से खरीद को लेकर टेंडर रद्द कर दिये जाते हैं। सिटी स्कैन 7 माह से खराब है। जबकि, हर दिन 50 मरीज यहां आते हैं।