सिटी पोस्ट लाईव : आज गुरुवार को राष्ट्रीय जनता दल का 22वां स्थापना दिवस है.इसके लिए जोरशोर से तैयारी की गई है. राजधानी पटना को पार्टी के बैनर पोस्टर से पाट दिया गया है . नेता और कार्यकर्ता पार्टी के स्थापना दिवस के बहाने शहर में जगह जगह होर्डिंग और पोस्टर लगाकर राजद के बड़े नेताओं को बधाई देने के बहाने अपनी राजनीति चमकाने की कोशिश कर रहे हैं. लेकिन इन सबसे बीच सबसे बड़ी बात ये है कि पहली बार पार्टी का स्थापना दिवस आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद के वगैर मनेगा. गौरतलब है कि चारा घोटाले में सजायाफ्ता लालू यादव अभी बीमार हैं और मुंबई के हॉस्पिटल में उनका ईलाज चल रहा है .
पार्टी के स्थापना दिवस पर पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को लालू प्रसाद के द्वारा की जानेवाली नई घोषणा के एलान का बेसब्री से इंजतार रहता था . लेकिन इस बार बेल पर जेल से बाहर होने के वावजूद लालू प्रसाद स्थापना दिवस कार्यक्रम में शामिल नहीं हो पाएंगे. वैसे भी वो सजायाफ्ता कैदी हैं और इस तरह के राजनीतिक कार्यक्रम में उनके शामिल होने, मीडिया से बातचीत करने पर रोक है. आरजेडी के के प्रवक्ता और विधायक शक्ति सिंह यादव ने कहा कि लालू प्रसाद जी शामिल नहीं हो पा रहे हैं और उनकी कमी को हमलोग निश्चित तौर से महूसस हो रहे हैं. उधर, जदयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि आरजेडी का मतलब लालू यादव और लालू यादव का मतलब आरजेडी होता है . उन्होंने कहा कि जिस व्यक्ति ने पार्टी को पैदा किया अगर वहीँ उसके स्थापना दिवस में नहीं रहेगा, तो उसकी कमी तो खलेगी ही.
पार्टी के स्थापना दिवस में लालू प्रसाद शामिल नहीं हो रहे हैं. दूसरी तरफ परिवार में फूट की खबर ने पार्टी की और मुश्किलें बढ़ा दी है. स्थापना दिवस को लेकर पार्टी की ओर जारी प्रेस रिलीज में तेजप्रताप यादव का नाम शामिल किया गया तो सुर्खियां बन गई, हालांकि तेजप्रताप ने खुद कहा कि फूट की बात गलत हैं और परिवार पूरी तरह एकजुट है.सूत्रों के हवाले स मिल रही खबर के अनुसार नाराज तेजप्रताप यादव ने पार्टी के स्थापना दिवस से खुद किनारा कर लिया था. लेकिन लालू यादव के समझाने के बाद वो शामिल होने को तैयार हो गए हैं. गौरतलब है कि जनता दल से अलग होकर लालू प्रसाद ने 5 जुलाई 1997 को राष्ट्रीय जनता दल का गठन किया था और तब से अब तक वो पार्टी के स्थापना दिवस में शामिल होते रहे हैं.