सिटी पोस्ट लाइव : बिहार के छपरा में जहरीली शराबकांड मामले की एसआईटी जांच और मृतकों के परिजनों को मुआवजे की मांग वाली याचिका पर सुनवाई के लिए सुप्रीम कोर्ट तैयार हो गया है.गौरतलब है कि इस याचिका में राष्ट्र कार्य योजना तैयार करने की मांग भी की गई है. 9 जनवरी को याचिक पर सुनवाई होगी.छपरा में जहरीली शराब से अब तक 40 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है.गैर सरकारी आंकड़े सैकड़ों में है. इस मामले में जांच और मुआवजे की मांग को लेकर एक याचिका को मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष जल्द सुनवाई के लिए पेश किया गया, जिसपर अगले सोमवार को सुनवाई करने पर सहमति मिल गई है.
याचिका में इस बात का भी जिक्र है कि बिहार की सीमा से सटे नेपाल, पश्चिम बंगाल, झारखंड और उत्तर प्रदेश में से किसी भी राज्य में शराबबंदी नहीं है. यह इस बात के प्रमाण है कि बिहार में पड़े पैमाने पर पड़ोसी राज्यों से शराब की तस्करी हो रही है.पश्चिम बंगाल और झारखंड के सरकारी खजाने में तेजी से वृद्धि भी हो रही है.जनहित याचिका में कहा गया कि यह पहली बार नहीं है जब भारत में जहरीली शराब के सेवन से लोगों के मरने की घटना सामने आई है. हाल के वर्षों में गुजरात, पंजाब और हरियाणा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक आदि से इसी तरह का एक मामला सामने आया था, जिसमें जानमाल का नुकसान हुआ था.
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट में आर्यावर्त महासभा फाउंडेशन द्वारा याचिका दायर की गई थी, जिसमें अवैध शराब के निर्माण, व्यापार और बिक्री पर अंकुश लगाने के लिए राष्ट्र कार्य योजना तैयार करने की मांग की गई थी. जनहित याचिका में आगे राज्य सरकार को निर्देश देने की मांग की गई है कि पीड़ित परिवार को पर्याप्त मुआवजा दिया जाए क्योंकि लोगों की जान को खतरे में डालकर उनके निष्क्रिय अधिकारों का उल्लंघन किया गया है.बिहार में विपक्ष लगातार मुवावजे की मांग सरकार से कर रहा है