दुकानों में नो मास्क नो एंट्री, कोरोना के नए वेरिएंट के खतरे की वजह से सरकार की उड़ी नींद

City Post Live - Desk

सिटी पोस्ट लाइव : कोरोना की पहली लहर लोगों ने देखी, समय रहते सरकार के फैसले ने लाखों लोगों की जिन्दगी बचा ली. लेकिन दूसरी लहर की तबाही जिस तरह से आई किसी को संभालने का मौका नहीं मिला. आज भी जब कोरोना की दूसरी लहर की याद आती है तो रूह कांप उठता है. ऐसा कोई शख्स नहीं जिसने किसी अपने को न खोया हो. श्मशान घाट लाशों से पटा रहता था. एम्बुलेंस की आवाज से शहर की सड़कें गूंजती रहती थी.

अब एकबार फिर कुछ इसी तरह का भय देश में दस्तक दे सकता है. कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन ने सरकार की नींद उड़ा दी है. सरकार की एकबार फिर सख्ती करने पर मजबूर कर दिया है. वायरस को रोकने के लिए अब राज्य की सीमा पर चौकसी बढ़ाई जा रही है. गृह मंत्रालय के आदेश के बाद अब बिहार से लगने वाली सभी सीमाओं पर कोरोना जांच की व्यवस्था की जा रही है. इसके लिए संबंधित सिविल सर्जन को आदेश दिया गया है. साथ ही ट्रेन और फ्लाइट के साथ अन्य वाहनों से आने वालों की जांच को लेकर भी सख्ती बढ़ाई जा रही है.

गृह मंत्रालय ने दुकानों और प्रतिष्ठानों में सभी के लिए हमेशा मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया है. काउंटर पर दुकानदार द्वारा कर्मियों एवं अन्य आगंतुकों के इस्तेमाल के लिए सैनिटाइजर की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है. दुकानों और प्रतिष्ठानों में केवल कोविड टीका लेने वालों को ही काम करने की अनुमति दी जाएगी. जारी आदेश में बिना मास्क वालों की दुकान में एंट्री बंद करने को कहा गया है. दुकान के बाहर सैनिटाइजर की व्यवस्था करें. बड़ी दुकानों और शोरूम में गार्ड की व्यवस्था करें, जो मास्क लगाकर ही प्रवेश कराए. दुकान में भीड़ नहीं लगाएं। सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें.

बता दें बिहार में बीते 24 घंटे में कोरोना के 5 नए मामले आए हैं. इनमें पटना में 2 और समस्तीपुर में 2 के साथ भागलपुर में एक मामला सामने आया है। अब तक बिहार में कुल 7,26,230 लोगों को कोरोना संक्रमण हुआ है. इनमें 7,16,534 लोग ठीक हुए हैं, जबकि 9,664 लोगों की जान गई है. बिहार में अभी भी कोरोना के एक्टिव मामलों की संख्या 31 है, जिनमें सबसे अधिक पटना में 18 मामले हैं.

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