सीसीएल के रजरपा कोल परियोजना का 650करोड़ बकाया: सरयू

City Post Live

सिटी पोस्ट लाइव, रांची: निर्दलीय विधायक सरयू राय ने मुख्य सचिव को पत्र लिखकर बताया कि  सीसीएल के रजरप्पा कोल परियोजना पर धोवित   कोयला के लिये रॉयल्टी मद में झारखंड सरकार का करीब 650 करोड़ रू० का बकाया काफी दिनों से चला आ रहा है। सीसीएल द्वारा बकाया राशि का भुगतान नहीं करने एवं धोवित कोयला पर स्वामिस्व का भुगतान नहीं करने के कारण सरकार द्वारा 2.85 गुणा अर्थात लगभग 3 गुणा अधिक स्वामिस्व के वसूली करने के उपरांत परिवहन चालानध्परमिट निर्गत करने का आदेश दिया गया था। भारी बकाया हो जाने के कारण राज्य सरकार के खान विभाग ने रजरप्पा प्रोजेक्ट से उत्खनित कोयला के परिवहन के लिये माइनिंग चालान पर रोक लगा दिया था। पिछली सरकार में सीसीएल ने काफी प्रयास किया कि इस प्रोजेक्ट से डिस्पैच के लिये परिवहन माइनिंग चालान सरकार दे दे। कई बार फाईल नीचे से उपर गई। अधीनस्थ अधिकारियों को चालान देने के लिये मौखिक आदेश हुये। परंतु संचिका पर आदेश देने की हिम्मत खान सचिव या खान मंत्री को नहीं हुई। नतीजतन माइनिंग चालान नहीं मिलने के कारण डिस्पैच बंद हो गया।

उन्होंने बताया कि  परन्तु वर्तमान में उक्त बकाया राशि का भुगतान किये बिना खान विभाग के जिम्स पोर्टल पर परमिटध्माइनिंग चालान देने का निर्देश दिया गया है। इस आधार पर सीसीएल अधिकारियों ने उक्त परियोजना से कोयले का डिस्पैच शुरू कर दिया है। रॉयल्टी का बकाया जस का तस है। जहांतक मेरी जानकारी है सक्षम प्राधिकार द्वारा संचिका पर इस आशय का कोई आदेश नहीं दिया गया है। इसके बावजूद किसी के आदेश से या स्वयं की बुद्धिमता से रामगढ़ जिला के खान पदाधिकारी ने वहाँ से कोयला के परिवहन के लिये माइनिंग चालान जारी कर दिया है, जो नियमानुकूल नहीं है। एक ओर राज्य सरकार कोल कंपनियों से राज्य का बकाया वसूलने के लिये केन्द्र सरकार के उपर दबाव बनाने के निर्णय पर अमल कर रही है तो दूसरी ओर राज्य सरकार के खान विभाग ने बकाया वसूल किये बिना रजरप्पा प्रोजेक्ट से कोयला के डिस्पैच का लंबे समय से बंद परमिटध्माइनिंग चालान सक्षम प्राधिकार की अनुमति के बगैर चालू कर दिया है। आप सहमत होंगे कि निर्णयों का यह विरोधाभास राज्य के वित्तीय हित में नहीं है।

Share This Article