सिटी पोस्ट लाइव, लखनऊ: प्रदेश में इन्वेस्टर्स समिट के आयोजन से मिली बड़ी कामयाबी के तहत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को गाजियाबाद के मोदीनगर में 300 करोड़ के सबसे बड़े ऑक्सीजन प्लांट का शुभारम्भ किया। 2018 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मौजूदगी में इन्वेस्टर्स समिट के दौरान इसके लिए निवेश हुआ और दो साल में यह बनकर तैयार हुआ है। निजी क्षेत्र के इस ऑक्सीजन प्लांट में उच्च गुणवत्ता की लिक्विड ऑक्सीजन बनेगी, जिसका उपयोग मरीजों के साथ साथ स्पेस शटल में हो सकता है। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने आईनॉक्स समूह को कोरोना कालखंड में न केवल उत्तर प्रदेश बल्कि उत्तर भारत की बहुत बड़ी समस्या लिक्विड ऑक्सीजन की कमी को दूर करने के लिए इस प्रयास के लिए धन्यवाद दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा यह हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण क्षण है। पिछले कुछ समय से अस्पतालों में मेडिकल ऑक्सीजन की कमी देखने को मिल रही थी। हालांकि प्रदेश में खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन की ओर से इसका लगातार प्रयास किया गया कि कहीं ऑक्सीजन की कमी न होने पाए। स्वास्थ्य विभाग और सभी संबंधित विभागों ने अपने स्तर पर प्रयास करते हुए मेडिकल ऑक्सीजन की आपूर्ति की बहुत अच्छी योजना बनाई और कहीं भी कोई समस्या नहीं आई। इन सबके बावजूद जो मांग थी उसके अनुसार समयबद्ध सप्लाई हो सके यह एक चुनौती इस समय खड़ी हो गई थी। मुख्यमंत्री ने कहा कि पूरी दुनिया वर्तमान में वैश्विक महामारी कोरोना से जूझ रही है। इस समय इस संक्रमण से बचाव के लिए जो कुछ भी उपाय हो सकते थे, पूरे देश के अंतर्गत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में इसे सफलतापूर्वक आगे बढ़ाने का कार्य हुआ है। लेकिन, फिर भी संक्रमण है।
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के दौरान भारत न केवल संक्रमण से पूरी तरह मुक्त था। बल्कि प्रभावी प्रभारी ढंग से हम लोगों ने इसे नियंत्रण में भी किया था। लेकिन, अनलॉक के तीसरे चौथे चरण में संक्रमण की दर काफी बढ़ गई थी और उसके कारण एक समस्या हम सबके सामने पैदा हो गई थी कि जो लोग संक्रमित हो रहे थे उन्हें अस्पतालों में बेहतर सुविधा मिले। जो हाई रिस्क ग्रुप था उन्हें भी अस्पतालों में बेहतरीन सुविधा प्रदान करने की जरूरत थी। इसके लिए हमें बेहतर नतीजे देने के लिए खासतौर से जो हमारे डेडिकेटेड कोविड हॉस्पिटल थे, वहां एचएफएनसी (हाई फ्लो नेजल कैन्युला) और वेंटिलेटर सुविधा के मद्देनजर मेडिकल ऑक्सीजन की आपूर्ति निरंतर बनाए रखने की जरूरत थी। एचएफएनसी के बाद मेडिकल ऑक्सीजन की मांग काफी बढ़ गई थी और एक समय तो ऐसा लगने लगा था कि हाहाकार मचने की नौबत आएगी। लेकिन, यहां पर पहले से की गई व्यवस्थाओं के कारण और लगातार केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा कोरोना नियंत्रण के लिए किए गए प्रयासों से इस संक्रमण की दर लगातार कम होती दिखाई दी।
मुख्यमंत्र ने कहा कि आज हम कह सकते हैं कि उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य में कोरोना पॉजिटिविटी कि दर 2.2 और 2.3 के आसपास है। उन्होंने कहा कि हम एक अच्छी दिशा में इसे नियंत्रण करने की ओर जा रहे हैं। रिकवरी का रेट भी प्रदेश के अंदर बहुत बेहतर स्थिति में पहुंच चुका है। यह सारी चीज है हमारे लिए जहां अच्छी हैं, वही हम सब को जो एक आशंका जो बनी रहती थी कि हमारे पास 72 घंटे का ऑक्सीजन बैकअप हो, 48 घंटे का ऑक्सीजन बैकअप हो,उसे बनाए रखने में आईनॉक्स समूह का ये ऑक्सीजन प्लांट बेहद मददगार साबित होगा। प्लांट लगाने के लिए आईनॉक्स एयर प्रॉडक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनी द्वारा प्रदेश सरकार के साथ एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए थे। इसके बाद वर्ष 2019 में मोदीनगर के अंतर्गत भोजपुर क्षेत्र में प्लांट का निर्माण शुरू हुआ। प्लांट को चार अलग-अलग मोड पर इस्तेमाल किया जा सकता है। प्लांट को संचालित करने वाली आईनॉक्स एयर प्रॉडक्ट प्राइवेट लिमिटेड में 50 प्रतिशत हिस्सेदारी अमेरिका की भी है। इसकी क्षमता 150 से 170 टन है। यहां रोजाना ऑक्सीजन गैस के 15 हजार सिलेंडर भरे जाएंगे। यहां से आसपास के प्रदेशों समेत विदेशों में भी आपूर्ति की जाएगी।
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