सिटी पोस्ट लाइव, रांची: झारखंड विधानसभा का तीन दिवसीय माॅनसून सत्र कई मायनों में सार्थक रहा। इस छोटे से सत्र में नौ विधेयकों को मंजूरी दी गयी, हालांकि प्रश्नोत्तरकाल की कार्यवाही बाधित रहने के कारण आम जन के कई ज्वलंत प्रश्न दब गये। कोरोनाकाल में संसदीय परंपराओं और संवैधानिक बाध्यतता के बीच आपदा कानून को लेकर जारी दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन के बीच आहूत तीन दिवसीय सत्र में70 अल्पसूचित प्रश्न, 61 तारांकित और 29 अतारांकित प्रश्न स्वीकृत किये गये, जिनमें से हंगामे के बीच 2 अल्पसूचित प्रश्नों के उत्तर सभा में दिये गये। वहीं शून्यकाल की 46 सूचनाएं सभा में पढ़ी गयी। सदन में वक्तव्य के लिए 10 ध्यानाकर्षण सूचनाएं की गयी। गैर सरकारी संकल्प की भी कुल 17 सूचनाएं सभा में ली गयी। इस छोटे से सत्र में विनियोग विधेयक समेत 9 विधेयक पेश किये गये और पारित हुए। महालेखाकार का अंकेक्षण प्रतिवेदन भी सभा पटल पर रखा गया। साथ ही इस सत्र में कई विभागों ने नियमावली की प्रतियां भी सभा पटल पर रखी गयी।
माॅनसून सत्र में कोविड-19 से उत्पन्न स्थिति पर भी सभा में विशेष चर्चा हुई। झारखंड जैसे छोटे राज्य के सामने यह बहुत बड़ी चुनौती है कि हम किस प्रकार अपने मानव संसाधनों का उपयोग कर उन्हें सामाजिक सुरक्षा प्रदान करें और उनके सम्मानपूर्वक जीवनयापन के लिए मार्ग प्रशस्त करें, इस दिशा में राज्य सरकार के प्रयास सराहनीय है। सत्र के सफल संचालन में विभिन्न विभागों के पदाधिकारियों तथा पुलिस सेवा के पदाधिकारियों, स्वास्थ्य विभाग की टीम और विधानसभा सचिवालय के अधिकारियों-कर्मचारियों का भी प्रयास काफी सराहनीय रहा है।