चम्पारण तटबंध टूटा, SH-74 पर चढ़ने लगा बाढ़ का पानी.

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सिटी पोस्ट लाइव : नेपाल और उत्तरी बिहार में हुई भारी बारिश (Heavy Rain) से भरी तबाही मची है.गोपालगंज (Gopalganj) में रिंग बांध और सारण बांध टूटने के बाद गंडक नदी (Gandak River) में बढ़ रहे जलस्तर के दबाव से चम्पारण तटबंध (Champaran Embankment) भी टूट गया है. संग्रामपुर प्रखण्ड के दक्षिणी भवानीपुर पंचायत के निहालु टोला में करीब 10 फीट चौड़ाई में बांध टूटा है और इसका दायरा लगातार बढ़ता ही जा रहा है. आस-पास के गांवों में रहने वाले लोग अब अपना घर-बार छोड़ ऊंचे ऊंचे स्थान पर शरण लेने के लिए पलायन शुरू कर चुके हैं. भीषण बाढ़ की आशंका से  क्षेत्र के लोगों में दहशत का माहौल है. अरेराज SDO, DSP सहित पदाधिकारी स्थल पर पहुंच लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के उपायों में लगे हैं. इस बीच एसएच 74 पर भी पानी चढ़ने लगा है.

गौरतलब है कि इससे वाल्मिकीनगर बराज से छोड़े गए पानी के कारण गोपालगंज के  बरौली के देवापुर में सारण प्रमुख बांध टूट गया. इसके अलावा मांझागढ़ प्रखंड के पुरैना में भी सारण बांध टूट गया है. इसकी वजह से गंडक नदी का तेज बहाव एनएच 28 (NH-28) की तरफ बढ़ रहा है. जिला प्रशासन की ओर से सारण बांध के किनारे बसे गांवों में लोगों को अलर्ट करने के लिए घोषणा करवाई जा रही है.

गौरतलब है  कि गोपालगंज में साढ़े चार लाख क्यूसेक पानी का बहाव (Flood Water Flow) था, जिसकी वजह से जिले में तटबंधों पर कई जगह रिसाव हो रहा था. बीती रात सिकटिया में रिसाव हो रहा था. उसके बाद सूचना मिली की बरौली के देवापुर रिंग बांध में रिसाव शुरू हो गया, जब तक अधिकारी मौके पर पहुंचकर हालात का जायजा लेते तब तक देखते ही देखते रिंग बांध  धराशायी हो गया.रिंग बांध टूटने की वजह से गंडक नदी  का तेज बहाव बरौली के देवापुर गांव के समीप सारण मुख्य बांध की तरफ बढ़ने लगा और अचानक खबर आई की रात को करीब 11 से 12 के बीच में सारण बांध भी टूट गया.

सारण बांध के टूटने से पानी तेजी से एनएच 28 की ओर बढ़ने लगा है. बांध के टूटने के साथ ही एनएच 28 पर बड़े वाहनों का परिचालन ठप हो गया है. इस बांध के टूटने से गोपालगंज का बरौली, मांझागढ़, सिधवलिया और बैकुंठपुर प्रखंड के सबसे ज्यादा प्रभावित होने की आशंका है. इन प्रखंडों में बसे करीब 500 से 600 गांव बाढ़ की चपेट में आने लगे हैं.

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