लॉकडाउन अवधि में निजी स्कूल सिर्फ शिक्षण शुल्क ही ले सकेंगे

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सिटी पोस्ट लाइव, रांची: झारखंड सरकार ने शैक्षणिक सत्र 2020-21 में विद्यालय शुल्क में किसी भी प्रकार की बढ़ोत्तरी पर रोक लगा दी हैं। सरकार द्वारा एक आदेश जारी कर यह भी स्पष्ट कर दिया गया है कि निजी स्कूलों द्वारा  विद्यालय शुल्क में किसी भी प्रकार की बढ़ोततरी नहीं की जाएगी। साथ ही विद्यालयों का पूर्ववत संचालन प्रारंभ होने से पहले सिर्फ शिक्षण शुल्क मासिक दर पर लिया जाएगा। स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग द्वारा गुरुवार को जारी आदेश में कहा गया है कि किसी भी परिस्थिति में शिक्षण शुल्क जमा नहीं करने के कारण किसी भी विद्यार्थी का नामांकन रद्द नहीं किया जाएगा तथा ऑनलाइन शिक्षण व्यवस्था की सुविधा सेवंचित नहीं किया जाएगा। सरकार द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि विद्यालय में नामांकित सभी विद्यार्थियों को बिना किसी भेदभाव के ऑनलाइन शिक्षण व्यवस्था के लिए आईडी और पासवर्ड तथा ऑनलाइन शिक्षण सामग्री उपलब्ध कराने की पूरी जिम्मेवारी विद्यालय प्रमुख की होगी।

स्कूली शिक्षा विभाग द्वारा यह भी कहा गया कि विद्यालय बंद रहने की अवधि तक किसी भी प्रकार का वार्षिक शुल्क, यातायात शुल्क या अन्य किसी प्रकार का शुलक अभिभावकों से नहीं लिया जाएगा। इससे संबंधित शुल्क विद्यालय में पुनः शिक्षण कार्य प्रारंभ होने के बाद समानुपातिक आधार पर अभिभावकों से ली जा सकेगी। साथ ही किसी भी परिस्थिति में अभिभावकों से विलंब शुल्क नहीं लिया जाएगा। विद्यालय में कार्यरत शिक्षक और शिक्षकेत्तर कर्मचारियों के वेतन में भी किसी प्राकर की कटौती या रोक नहीं लगायी जाएगी और स्कूल प्रबंधन द्वारा शुल्क के लिए कोई नया मद सृजित कर अभिभावकों पर अतिरिक्त आर्थिक दबाव नहीं बनाया जाएगा। राज्य सरकार द्वारा यह भी चेतावनी दी गयी है कि इन निर्देशों का पालन नहीं करने की स्थिति में संबद्धता के लिए राज्य सरकार द्वारा निर्गत अनापत्ति प्रमाण, एनओसी रद्द या पुनर्विचार किया जाएगा और आवश्यकतानुसार विधिसम्मत कार्रवाई की जाएगी।

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